बता दें कि पूर्व सांसद रमाकांत को भाजपा में लाने वाले योगी आदित्यनाथ ही थे। उनकी गिनती मुख्यमंत्री के करीबियों में की जाती है, मगर यूपी में दो सीटों पर उपचुनावों में मिली करारी हार के बाद भाजपा नेता एवं पूर्व सांसद रमाकांत यादव ने योगी आदित्यनाथ पर ही हमला बोल दिया था । रमाकांत यादव ने बुधवार को आरोप लगाया है कि पिछड़ों और दलितों की उपेक्षा के चलते उपचुनाव में भाजपा को हार मिली है और पार्टी समय रहते सचेत नहीं हुई तो 2019 में भी करारी हार मिलेगी। उन्होंने सीएम योगी पर व्यक्तिगत रूप से कटाक्ष करते हुए कहा था कि पिछड़ों-दलितों को उनका हक मिलना चाहिए। सभी जातियों को सम्मान मिलना चाहिए जो योगी नहीं दे रहे हैं। उन्होंने तंज कसते हुए कहा था कि पूजा पाठ करने वाले को मुख्यमंत्री बना दिया गया उनके बस का सरकार चलाना नहीं है।
रमाकांत यादव के इस बयान के बाद सीएम योगी नाराज चल रहे हैं और यही वजह है कि सीएम योगी नहीं चाहते कि रमाकांत चुनाव लड़ें ।