यूएन प्रमुख को भारत ने दिया दो टूक जवाब, कहा-जम्मू-कश्मीर देश का अभिन्न अंग मसूद अजहर का संगठन ‘जैश-ए-मोहम्मद’ भारत ही नहीं अमरीका, इंग्लैंड, ऑस्ट्रेलिया और कनाडा में अपनी आतंकी गतिविधियों के लिए जाना जाता है। संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद ने मसूद अजहर को बीते साल एक मई को वैश्विक आतंकी घोषित किया था।
पाकिस्तान के दावे मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार पाकिस्तान ने दावा किया है कि संयुक्त राष्ट्र द्वारा घोषित 16 ग्लोबल आतंकी उनके यहां हैं। इसमें से सात की पहले ही मौत हो चुकी है। वहीं बाकी बचे नौ आतंकियों ने संयुक्त राष्ट्र से आर्थिक और ट्रैवल बैन को हटाने की मांग की थी। पाकिस्तान ने दावा किया है कि संयुक्त राष्ट्र द्वारा घोषित आतंकी संगठनों के करीब साढ़े पांच हज़ार अकाउंट को सील किया जा चुका है।
पाकिस्तान का ये सारा पैंतरा FATF से ब्लैक लिस्ट होने से बचने के लिए है। ब्लैक लिस्ट होने पर आर्थिक तंगी से जूझ रहे पाकिस्तान को वर्ल्ड बैंक से कर्ज नहीं मिलेगा। आज से पेरिस में FATF की बैठक शुरू हो रही है। इस बार बैठक की अध्यक्षता चीन कर रहा है। FATF ने जून 2018 में पाकिस्तान को ग्रे लिस्ट में शामिल किया था। पाक को चेतावनी दी गई कि वो आतंकी फंडिंग पर रोक लगाए। FATF की ब्लैक लिस्ट में पाक के अलावा ईरान और नॉर्थ कोरिया भी है।
बीमारी का दावा बीते साल ऐसी खबर आई थी कि मसूद अजहर किडनी की बीमारी से जूझ रहा है। ऐसे में वह अपना ज्यादातर वक्त अपने क्वॉर्टर में बिताता है। बीमारी के चेलत वो जैश का कोई भी काम नहीं देख पा रहा। छोटा भाई ही सबकुछ संभाल रहा है। कंधार में 1999 में रिहा होते ही मसूद अजहर ने जैश ए मोहम्मद के नाम से आतंकी संगठन खड़ा किया। इस संगठन ने भारत पर कई हमलों को अंजाम दिया।