सरगुजा जिले के उदयपुर थाना क्षेत्र अंतर्गत ग्राम विशुनपुर निवासी दशमेत पैकरा पति सुकुल राम उम्र 50 वर्ष गुरुवार को एसपी के पास शिकायत लेकर पहुंची थी। उसने बताया कि 21 जून को थाना उदयपुर के पुलिस स्टाफ संतोष गुप्ता एवं अन्य पुलिसकर्मी मेरे घर में आए और शराब बनाते एवं बेचते हो, कहकर मेरे साथ महिला आरक्षक एवं संतोष गुप्ता द्वारा लात-मुक्के से मारपीट की गई।
घर में शराब नहीं मिलने के बाद भी मेरे पति सहित मुझसे मारपीट करते हुए थाना ले गए। यहां हम दोनों को छोडऩे के लिए 30 हजार रुपए की मांग की गई। महिला ने बताया है कि मेरे पुत्र दिनेश पैकरा ने घर से 30 हजार रुपए लाकर पुलिस कर्मी संतोष गुप्ता को दिया, इसके बाद हम दोनों को छोड़ा गया। महिला ने एसपी को ज्ञापन सौंपकर पुलिसकर्मी संतोष गुप्ता के खिलाफ कार्रवाई की मांग की है।
एलआईसी के थे रुपए
महिला ने एसपी को बताया कि छोडऩे के एवज में जो 30 हजार रुपए पुलिसकर्मी को दिए गए, वह एलआईसी से मिले थे। उसने बताया कि पति का एलआईसी पूरा होने पर कुछ दिन पूर्व ही 48 हजार रुपए मिले थे।
ये रुपए घर में रखे हुए थे। इसमें से ही 30 हजार रुपए मेरे पुत्र ने थाने के सामने सरकारी गाड़ी के पीछे दिया था। रुपए लेने के बाद हम लोगों को छोड़ा गया। पुलिसकर्मियों ने थाने में भी मेरे पति के साथ भी मारपीट की है।
शिकायत के बाद प्रधान आरक्षक लाइन अटैच
इस मामले में एएसपी विवेक शुक्ला ने बताया कि महिला व उसके परिवार वाले अवैध शराब बनाने का काम करते हैं। पूर्व में भी आबकारी व पुलिस द्वारा कार्रवाई की गई है। घटना दिवस भी उसके पति के खिलाफ आबकारी अधिनियम के तहत कार्रवाई की गई है।
वहीं महिला ने प्रधान आरक्षक संतोष गुप्ता पर मारपीट व रुपए मांगने का आरोप लगाया है। इस मामले की जांच का जिम्मा एसडीओपी अखिलेश कौशिक को दिया गया है। वहीं महिला की शिकायत के बाद प्रधान आरक्षक संतोष गुप्ता को लाइन अटैच कर दिया गया है।