शुबूक तारा पति इसराफिल अंसारी उम्र ४० वर्ष प्रतापपुर थाना क्षेत्र के कॉलेज पारा की रहने वाली थी। मंगलवार को प्रसव पीड़ा होने पर उसे डिलीवरी के लिए परिजन ने मेडिकल कॉलेज अस्पताल अंबिकापुर में भर्ती कराया। मातृ -शिशु अस्पताल में ड्यूटी डॉक्टर ने महिला की सारे रिपोर्ट की जांच की। जांच में सभी रिपोर्ट सही पाए गए। महिला की नॉर्मल डिलीवरी के लिए इंतजार किया जा रहा था।
रात करीब १२ बजे उसे ओटी में ले जाया गया और स्टाफ नर्स द्वारा परिजन को बोला गया कि कुछ देर तक नॉर्मल डिलीवरी होने का इंतेजार कर रहे हैं। अगर नहीं होता है तो ऑपरेशन करना पड़ेगा। आधे घंटे बाद परिजन को बताया गया कि नॉर्मल डिलीवरी की स्थिति नहीं बन रही है ऑपरेशन करना पड़ेगा। कुछ देर बाद ऑपरेशन कक्ष से बाहर निकल कर स्टाफ द्वारा परिजन को बताया गया कि बच्चा मृत पैदा हुआ है और मां की स्थिति भी खराब है, उसे खून चढ़ाना पड़ेगा।
परिजन किसी तरह ब्लड इंतजाम कर चढ़वा ही रहे थे कि बुधवार की सुबह ९ बजे महिला की मौत हो गई। अस्पताल पहुंचने के बाद भी प्रसूता मां व बच्चे की मौत होने पर परिजन ने अस्पताल के डॉक्टर पर लापरवाही का आरोप लगाते हुए हंगामा मचाना शुरू कर दिया।
परिजन ने लगाया जान बूझकर मारने का आरोप
मृतका के पति इसराफिल ने आरोप लगाया है कि रात में मेरी पत्नी को ऑपरेशन कक्ष में ले जाने से पूर्व एक व्यक्ति जिसका चेहरा बंधा हुआ था उसने दस हजार रुपए की मांग की थी। उसने कहा था कि दस हजार रुपए दीजिए सब कुछ ठीक हो जाएगा। पति ने आरोप लगाया कि रुपए नहीं देने पर पत्नी व बच्चे की जान ले ली।
मृतका के पति इसराफिल ने आरोप लगाया है कि रात में मेरी पत्नी को ऑपरेशन कक्ष में ले जाने से पूर्व एक व्यक्ति जिसका चेहरा बंधा हुआ था उसने दस हजार रुपए की मांग की थी। उसने कहा था कि दस हजार रुपए दीजिए सब कुछ ठीक हो जाएगा। पति ने आरोप लगाया कि रुपए नहीं देने पर पत्नी व बच्चे की जान ले ली।
परिजन ने किया हंगामा
प्रसूता मां व बच्चे की मौत के बाद परिजन ने लापरवाही का आरोप लगाकर एमसीएच में हंगामा करना शुरू कर दिया। सूचना पर पुलिस व अस्पताल के उप अधीक्षक पहुंंचे और परिजन को समझाया। उप अधीक्षक द्वारा मामले की जांच कराने के आश्वासन पर परिजन शव का पीएम कराने को तैयार हुए।