शहर के नवागढ़ निवासी मो. फारूक ने राजस्व मंडल बिलासपुर के 2 आदेश में कूटरचना कर जमीन का फर्जीवाड़ा किया था। मामला (CG land fraud) कलेक्टर विलास भोस्कर के समक्ष आने पर जांच कराई गई थी। जांच में राजस्व मंडल के आदेश में कूटरचना किया जाना पाया गया था। इस पर कलेक्टर ने मो. फारूक के खिलाफ तहसीलदार को रिपोर्ट दर्ज कराने का आदेश दिया था।
कलेक्टर के आदेश पर तहसीलदार ने कोतवाली में राजस्व मंडल के आदेश में कूटरचना कर जमीन फर्जीवाड़ा करने की रिपोर्ट 6 सितंबर 2024 को दर्ज कराई थी। मामले (CG land fraud) में पुलिस आरोपी के खिलाफ धारा 318(4), 338, 336(3), 340 (2) के तहत दो प्रकरण दर्ज कर विवेचना कर रही थी।
इस मामले में कोतवाली पुलिस ने रिपोर्ट दर्ज कराए जाने के लगभग तीन बाह बाद आरोपी फारूक को गिरफ्तार किया है। पुलिस ने आरोपी के खिलाफ कार्रवाई कर जेल दाखिल कर दिया है।
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अपने हक में कर लिया था आदेश पारित
आवेदक भगतु राम की भूमि ग्राम मानिकप्रकाशपुर तहसील अम्बिकापुर में खसरा क्रमांक 188/3 रकबा 0-052 हेक्टेयर है। 1 सितंबर 2020 को फारूक द्वारा प्रस्तुत राजस्व मण्डल बिलासपुर के आदेश के दस्तावेज संदेहास्पद प्रतीत होने से इसकी जांच कराई गई। जांच में पाया गया कि फारूक द्वारा राजस्व मण्डल बिलासपुर के पारित आदेश में कूटरचना कर अपने हक में आदेश पारित कराया गया हैं।CG land fraud: 10 एफआईआर थानों में कराई गई है दर्ज
राजस्व मंडल बिलासपुर के आदेशों में कूटरचना (CG land fraud) कर कई लोगों ने आदेशों को अपने हक में करा लिया था। जब यह मामला सामने आया तो एक-एक कर कलेक्टर के निर्देश पर कोतवाली व बतौली में दस एफआईआर दर्ज कराई गई है। इसमें ७० लोगों को आरोपी बनाया गया है। यह भी पढ़ें
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इन आरोपियों की अग्रिम जमानत हो चुकी है खारिज
राजस्व मंडल के आदेश में कूटरचना कर जमीन फर्जीवाड़ा (CG land fraud) के मामले में राजपुर निवासी अशोक अग्रलवाल व प्रेमनगर निवासी घनश्याम अग्रवाल ने अग्रिम जमानत के लिए हाईकोर्ट में आवेदन लगाया था। मामले की सुनवाई करते हुए हाईकोर्ट ने दोनों की अग्रिम जमानत को खारिज कर दिया है। दोनों के खिलाफ कोतवाली में रिपोर्ट दर्ज है। इन दोनों ने गिरफ्तारी से बचने हाईकोर्ट में अग्रिम जमानत के लिए आवेदन लगाया था।