मनमोहक प्रस्तुतियों से पाई दाद समारोह में माला पारीक की नृत्यांजलि कत्थक एवं बॉलीवुड डांस एकेडमी की कलाकारों ने ढोलीड़ा, गुजराती नृत्य, ताल से ताल मिला… कत्थक नृत्य पेश किया। नीता खन्ना ने झनक-झनक तोरी बाजे पायलिया…गीत पर नृत्य पेश किया। वहीं प्रीति जैन ने आपकी नजरों ने… ऋतु बंग ने आज फिर जीने की तमन्ना…, प्रिया शर्मा ने इक राधा इक मीरा…गीत सुनाकर दाद पाई। इस दौरान सामान्य ज्ञान के रोचक प्रश्न पूछे गए और विजेताओं को इनाम वितरित किए गए। कार्यक्रम में रियल बेकर्स, सांवरिया डीजे साउंड ने सहयोग दिया।
कुशल गृहिणी के साथ कुशल प्रबंधक भी – हाड़ा महापौर बृजलता हाड़ा ने कहा कि देश में महिलाएं किसी क्षेत्र में पीछे नहीं हैं। केवल उन्हें अंतर्निहित क्षमताओं को पहचानते हुए प्रयास करने की जरूरत है। उन्होंने कहा कि महिलाएं कुशल गृहिणी के साथ-साथ कुशल प्रबंधक होती हैं। उन्हें आर्थिक के साथ-साथ मानसिक स्वतंत्रता की भी जरूरत है। सरकारी अथवा निजी नौकरी के अलावा वे घर पर रहते हुए अपने हुनर से खुद को सक्षम बना सकती हैं।
आत्मनिर्भर बनें -दीप्ति राजस्व मंडल की उपनिबंधक दीप्ति शर्मा ने कहा कि महिलाओं को सामाजिक स्वतंत्रता के साथ आर्थिक स्वतंत्रता जरूरी है। परिवार व घर की जिम्मेदारी तक ही महिला स्वयं को सीमित नहीं रखें वरन अपने अंदर छिपे हुनर को पहचानें। महिलाओं को भय रहता है कि नौकरी पेशा होने के कारण उनका घर परिवार पीछे रह जाएगा ऑफिस में घर की चिंता रहती है। दोनों मे समन्वय रखना होगा व इसे चुनौती के रूप में स्वीकार करना होगा। वह आत्मनिर्भर रहें।
वचन ही शासन हो – प्रीति एडिशनल एसपी प्रीति चौधरी ने कहा कि संस्कार परिवार से ही पीढ़ी-दर-पीढ़ी चलते हैं। महिलाओं में घर-परिवार, समाज और देश को संभालने की क्षमता है। किसी काम को कमतर समझने के बजाय उसे रुचि से किया जाए तो कामयाबी स्वत: मिलती है। उन्होंने कहा कि महिला किसी भी काम को अनुशासन से करती है। अनुशासन से सफलता मिलना तय होता है। महिला को अपनी बात पर अडि़ग रहना होगा। प्रयास यह हो कि उसका वचन ही शासन हो।
करें एक-दूसरे का सम्मान -छवि पुलिस उपअधीक्षक छवि शर्मा ने कहा कि महिलाओं पर दोहरी जिम्मेदारी होती हैं। महिलाएं आपस में एक दूसरे को सम्मान दें। उन्होंने आवाज दो (स्पीक अप) कार्यक्रम के बारे में जानकारी देते हुए नज्म… बोल कि लब आज़ाद हैं तेरे, बोल जुबां अब भी तेरी है… तेरा सुत्वां जिस्म है तेरा, बोल कि जां अब तक तेरी है…बोल ये थोड़ा वक्त बहुत है, जिस्म ओ ज़बां की मौत से पहले… बोल कि सच जि़ंदा है अब तक, बोल जो कुछ कहना है कह ले…सुनाकर महिलाओं को अधिकारों के प्रति सजग रहने की प्रेरणा दी। उन्होंने पत्रिका के संस्थापक श्रद्धेय कर्पूरचंद कुलिश से जुड़े संस्मरण सुनाते कहा कि पत्रिका में कुलिशजी के समय से ही महिलाओं का सम्मान होता आया है।
असंभव को संभव कर दिखाने की ताकत -रघुवंशी एडिशनल एसपी डॉ. प्रियंका रघुवंशी ने कहा कि नारी शक्ति ने असंभव को संभव कर दिखाने की ताकत है। महिलाएं अब सेनाए प्रशासनिक सेवाए पुलिसए राजनीति सहित सभी क्षेत्रों में अग्रणीय हैं। उन्हें खुद को कमजोरए असहाय, लाचार और भयाक्रांत समझने के बजाय खुद को मजबूत बनाने की जरूरत है। चाहे महिलाएं सरकारी नौकरी में हों या घरेलू कामकाज में व्यस्त उन्हें लड़कियों के साथ.साथ लड़कों को भी संस्कार देने चाहिए। महिलाओं और बालिकाओं को जिस भी क्षेत्र में कॅरियर बनाने की चाहत हो उसे दृढ़ इच्छा शक्ति से पूरा करना चाहिए।
सेल्फी पॉइंट बना आकर्षण पत्रिका के स्थापना दिवस पर सेल्फी पॉइंट आकर्षण का केंद्र रहा। महिलाओं और बालिकाओं ने सेल्फी लेने के अलावा समूह में फोटो लिए। यह रहे मौजूदपार्षद प्रतिभा पाराशर, पार्षद रूबी जैन, गौड़ ब्राह्मण महिला मंडल अध्यक्ष मधु भारद्वाज, उषा भारद्वाज, मीता खन्ना, बीना शर्मा, पूजा तोलानी, जयश्री शर्मा, वनिता जैमन, आभा गांधी, राजेंद्र गांधी और अन्य
इन्हें मिला नारी शक्ति सम्मान पूजा राॅय चौहान-निदेशक देहली वर्ल्ड पब्लिक स्कूल -डॉ. विभूति गक्खड़-नेत्र रोग विशेषज्ञ -नीतू सिंह-शिक्षिका दुर्गेश सांखला-लोको पायलट रेलवे दीपिका लालवानी-हैप्पीनेस कोच एवं सोशल एक्टिविस्टकमलेश तड़ागी-अंतरर्राष्ट्रीय बास्केटबॉल खिलाड़ी
भाविका यादव-सॉफ्टबॉल राष्ट्रीय खिलाड़ी-ममता-महिला चालक (जीआरपी) क्षमा काकड़े कौशिक-मुख्य कार्यकारी एवं सचिव राजस्थान महिला कल्याण मंडल डॉ. रेखा मेहरा, प्राचार्य इंजीनियरिंग कॉलेज बड़ल्या डॉ पूनम पांडे, कवयित्री एवं साहित्यकारअनिता राज, राजस्थान पुलिस सेवा