आगरा। डॉ. भीमराव अंबेडकर यूनीवर्सिटी परीक्षाफल देने में एक बार फिर फेल हो गई है। अधूरे परीक्षाफल से छात्र परेशान हैं। बीए, बीएससी, बीकॉम के एक लाख छात्रों का परीक्षाफल घोषित नहीं हुआ है। राज्यपाल राम नाईक ने गतवर्ष हुए दीक्षांत समारोह में कहा था, कि प्रवेश, परीक्षा और परिणाम में आगरा यूनिवर्सिटी में सुधार होगा, लेकिन इस बार भी आगरा यूनिवर्सिटी पर कोई प्रभाव नहीं पड़ा। हर वर्ष का यही हाल आगरा यूनिवर्सिटी का ये हाल पहली बार नहीं है, बल्कि कई वर्षों से चला आ रहा है। कुलपति आए और चले गए, लेकिन यूनिवर्सिटी के हालात सुधरने का नाम नहीं ले रहे हैं। प्रवेश, परीक्षा और परिणाम तीनों में से किसी भी कार्य में यूनिवर्सिटी पास नहीं हो पा रही है। इस बार भी अधूरा परीक्षाफल घोषित हुआ है। बीए, बीएससी और बीकॉम का विवि ने सभी छात्रों का परीक्षाफल घोषित नहीं किया। पीआरओ डॉ. गिरजा शंकर शर्मा ने बताया कि कॉलेज द्वारा छात्रों के प्रायोगिक परीक्षा के अंक नहीं भेजे हैं। ऐसे कॉलेजों का परीक्षाफल रोक दिया गया है। इसलिए हो रहा रिजल्ट लेट कॉलेज संचालकों का कहना है कि विवि प्रशासन ने पैनल बनाने में लापरवाही की है। जुलाई के द्वितीय सप्ताह तक कॉलेज में प्रायोगिक परीक्षा के लिए शिक्षकों के पैनल भेजे गए। ऐसे में कॉलेज संचालकों द्वारा शिक्षकों से प्रायोगिक परीक्षा के लिए संपर्क किया जा रहा है, वे छात्रों की संख्या कम होने पर परीक्षा लेने से इन्कार कर रहे हैं। इसके चलते प्रायोगिक परीक्षाएं कराने में समस्या आ रही है। सेल्फ फाइनेंस कॉलेज एसोसिएशन के महामंत्री डॉ. आशुतोष पचौरी का कहना है कि प्रायोगिक परीक्षा के पैनल की जानकारी देरी से दी जा रही है, कई कॉलेजों में शिक्षकों ने परीक्षा कराने से इन्कार कर दिया है।