गेहूं का भीषण संकट
पाकिस्तान के स्थानीय रिपोर्ट के मुताबिक किसानों के संगठन ‘किसान इत्तेहाद’ ने बीते रविवार को इस आंदोलन (Farmers protest in Pakistan) का ऐलान किया है। उनका कहना है कि पूरे पाकिस्तान में गेहूं का संकट पैदा हो गया है। किसान इत्तेहाद के अध्यक्ष खालिद खोखर ने कहा कि सरकार स्थानीय किसानों से फसल खरीदने के बजाय आयात कर रही है। जिसके हम पुरजोर विरोध कर रहे हैँ। उन्होंने गेहूं आयात में भ्रष्टाचार का आरोप लगाया और इसमें शामिल लोगों को फांसी देने की मांग की।
पाकिस्तान को 1 अरब डॉलर का हुआ नुकसान
साथ में उन्होंने ये भी आरोप लगाया कि ‘गेहूं माफियाओं’ को आयात से 100 अरब डॉलर का मुनाफा (PKR) हुआ जबकि पाकिस्तान को लगभग 1 अरब अमेरिकी डॉलर का नुकसान हुआ। गेहूं माफियाओं को साधने की कोशिश में सरकार ने गेहूं की आरक्षित दर में बढ़ोतरी कर दी। जबकि किसानों ने बड़ी मात्रा में गेहूं का उत्पादन किया लेकिन वो अपनी खुद की कमाई से वंचित रह गए क्योंकि अधिकारियों ने अनाज का आयात कर लिया। इसलिए अब उनके पास आंदोलन करने के सिवाय और कोई चारा नहीं बचा है।
प्रधानमंत्री, सेना प्रमुख, ISI से भी किया संपर्क
बता दें कि किसानों ने पाकिस्तान के प्रधानमंत्री, सेना प्रमुख, ISI के महानिदेशक और खाद्य सुरक्षा मंत्री से संपर्क किया लेकिन उनकी चिंताओं का समाधान नहीं किया गया। किसानों ने अब नागरिक समाज, मीडिया, वकीलों और व्यापारिक समुदाय से भी इस आंदोलन में जुड़ने का आह्वान किया है।