आदिवासी नायक बिरसा मुंडा ने जनजातीय समाज को खड़ा करने और जल, जंगल, जमीन के अधिकारों के लिए लड़ी लड़ाई
आदिवासी नायक बिरसा मुंडा ने जनजातीय समाज को खड़ा करने और जल, जंगल, जमीन के अधिकारों के लिए लड़ी लड़ाई
आदिवासी नायक बिरसा मुंडा ने जनजातीय समाज को खड़ा करने और जल, जंगल, जमीन के अधिकारों के लिए लड़ी लड़ाई
ग्राम डगडौआ में जन जातीय गौरव दिवस कार्यक्रम का आयोजन
आदिवासी नायक बिरसा मुंडा ने जन जातीय समाज को खड़ा करने, भारतीय संस्कृति की रक्षा करने तथा जल ,जंगल, जमीन के अधिकारों की लड़ाई लड़ी। उन्होंने धर्म परिवर्तन को रोकने आवाज बुलंद की। वे ऐसे सपूत थे जिन्होंने स्वतंत्रता आन्दोलन के पूर्व ही परिस्थितियों को भांप लिया था और स्वतंत्रता के लिए आन्दोलन शुरू कर दिया था। उक्त आशय के विचार मानपुर विधानसभा क्षेत्र की विधायक मीना सिंह ने करकेली जनपद पंचायत के ग्राम डगडौआ में आयोजित जन जातीय गौरव दिवस कार्यक्रम को संबोधित करते हुए व्यक्त किए। उन्होंने कहा कि बिरसा मुंडा भारत के एक आदिवासी सेनानी और लोक नायक थे, सभी को उनके जीवन से प्रेरणा लेनी चाहिए।
कार्यक्रम को संबोधित करते हुए बांधवगढ विधानसभा क्षेत्र के विधायक ने शिवनारायण सिंह कहा कि बिरसा मुंडा भारत के एक आदिवासी सेनानी और लोक नायक थे, जिनकी ख्याति अंग्रेजों के खिलाफ स्वतंत्रता संग्राम मे काफी हुई थी। केवल 25 वर्ष की उम्र में इतने मुकाम हासिल कर लिए थे कि आज भी भारत की जनता उन्हें याद करती है। कलेक्टर धरणेन्द्र कुमार जैन ने कहा कि बिरसा मुंडा का जन्म 15 नवंबर को रांची जिले के उलिहतु गांव में हुआ था। मुंडा रीति रिवाज के अनुसार उनका नाम वृहस्पतिवार के हिसाब से बिरसा रखा गया था। बिरसा के माता पिता का नाम सुगना मुंडा और माता का नाम करमी हटू था। उन्होंने कहा कि जन जातीय संस्कृति की रक्षा स्वाभिमान स्वराज की स्थापना के लिए अंग्रेजो से लड़ाई करते हुए जन जातीय वर्ग के उत्थान के लिए बिरसा मुंडा ने अथक प्रयास किए। उनके जन्म दिवस पर देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा पीएम जन योजना की तर्ज पर धरती आबा जन जातीय उन्नत ग्राम अभियान का संचालन किया जा रहा है। जिसमें दो पैरामीटर स्थापित किए गए है। अभियान के तहत जिले में 334 ग्रामों का चयन किया गया है जहां 18 विभागों के 15 पैरामीटर तय किए गए है। जिसमें आवास, रोड, बिजली आदि शामिल है ।
उनकी जीवनी से प्रेरणा लेनी चाहिए
कार्यक्रम को संबोधित करते हुए जिला पंचायत अध्यक्ष ने कहा कि बलिदानी राष्ट्र भक्त बिरसा मुंडा की जीवनी से सभी को प्रेणना लेनी चाहिये। बिरसा मुंडा का परिवार वैसे तो घुमक्कड़ जीवन व्यतीत करता था। बिरसा बचपन से अपने दोस्तों के साथ रेत में खेलते रहते थे और थोड़ा बड़ा होने पर उन्हें जंगल में भेड़ चराने जाना पड़ता था। जंगल में भेड़ चराते वक्त समय व्यतीत करने के लिए बांसुरी बजाया करते थे और कुछ बांसुरी बजाने में उस्ताद हो गये थे। उन्होंने कद्दू से एक तार वाला वादक यंत्र तुइला बनाया था जिसे भी वो बजाया करते थे। उनके जीवन के कुछ रोमांचक पल अखारा गांव में बीते थे। कार्यक्रम को मनीष सिंह, योगेश व्दिवेदी ने भी संबोधित किया। इस दौरान अतिथियों ने जमीन दाता नत्थू् कोल, बतसिया बाई, फिरतू कोल, अमृतलाल कोल, समय लाल कोल, गंगेलाल कोल, तेजी कोल, भैयालाल कोल, दुक्खूल कोल, राम टहल कोल, मंगल कोल सहित अन्य वरिष्ठ जनों का शाल एवं श्रीफल से सम्मान किया गया । कार्यक्रम के अंत में कृषि विभाग व्दाजरा कृषकों को मसूर के मिनी किट का वितरण किया गया।
निर्माण कार्य का किया भूमि पूजन
कार्यक्रम के दौरान विधायक बांधवगढ़, कलेक्टर धरणेन्द्र कुमार जैन ने विधानसभा क्षेत्र बांधवगढ़ एवं मानपुर में बनने वाले 11 बहुउद्देशीय भवन का भूमि पूजन किया। प्रत्येक बहु उद्देशीय भवन की लागत 60 लाख रुपये है। जिन ग्रामों में बहु उद्देशीय भवनों का निर्माण कार्य किया जाना है उनमें 89 बांधवगढ़ विधानसभा क्षेत्र के ग्राम अमदरी ग्राम पंचायत अमदरी, ग्राम बरही ग्राम पंचायत बरही, ग्राम मझ गवा ग्राम पंचायत खाल्हे कठई, ग्राम तखतपुर ग्राम पंचायत खेरवा खुर्द, ग्राम चिरहुला ग्राम पंचायत कौडिय़ा 63, ग्राम चंदवार ग्राम पंचायत चंदवार शामिल है। इसी तरह 90 मानपुर विधानसभा क्षेत्र के ग्राम खोलखम्हरा, ग्राम बंधवाबारा ग्राम पंचायत चंदनिया, ग्राम जमुहाई ग्राम पंचायत बेली, ग्राम धूपखड़ा ग्राम पंचायत भौतरा शामिल हैं।
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