scriptHolashtak : होलाष्टक के 8 दिन हैं अशुभ, धर्मशास्त्रों में वर्णित 16 संस्कार से बचें नहीं तो कष्ट की संभावना | Holashtak 8 Days Inauspicious Avoid 16 Rituals Mentioned in Scriptures Otherwise You will Suffer | Patrika News
उदयपुर

Holashtak : होलाष्टक के 8 दिन हैं अशुभ, धर्मशास्त्रों में वर्णित 16 संस्कार से बचें नहीं तो कष्ट की संभावना

Holashtak 2024 : होलाष्टक फाल्गुन शुक्ल पक्ष की अष्टमी तिथि से शुरू होकर फाल्गुन शुक्ल पक्ष पूर्णिमा तक रहते हैं। यानी होलिका दहन के साथ ही होलाष्टक का समापन होता है। 24 मार्च को होलिका दहन के साथ होलाष्टक समाप्त होगा। खरमास आज से शुरू हो गया है।

उदयपुरMar 14, 2024 / 12:06 pm

Sanjay Kumar Srivastava

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होलाष्टक 2024 (File Photo)

Holashtak 2024 : होलाष्टक फाल्गुन शुक्ल पक्ष की अष्टमी तिथि से शुरू होकर फाल्गुन शुक्ल पक्ष पूर्णिमा तक रहते हैं। यानी होलिका दहन के साथ ही होलाष्टक का समापन होता है। अष्टमी तिथि से शुरू होने कारण भी इसे होलाष्टक कहा जाता है। पंचांग के अनुसार, इस साल फाल्गुन माह के शुक्ल पक्ष की अष्टमी तिथि का प्रारंभ 16 मार्च को रात 9 बजकर 39 मिनट से होगा, जिसका समापन 17 मार्च को सुबह 9 बजकर 53 मिनट पर होगा। ऐसे में होलाष्टक 17 मार्च से लगेगा और 24 मार्च को होलिका दहन के साथ समाप्त होगा। इसके बाद 25 मार्च को रंग वाली होली (धुलेंडी) मनाई जाएगी। वहीं, गुरुवार से खरमास भी प्रारंभ हो रहा है। ऐसे में मांगलिक कार्यों पर अब 13 अप्रेल तक विराम रहेगा।



होली के पूर्व के आठ दिन यानी होलाष्टक में भी धर्मशास्त्रों में वर्णित 16 संस्कार आदि नहीं किए जाते है। इन दिनों शुरू किए गए कार्यों से कष्ट की प्राप्ति होती है। शास्त्रों के अनुसार भक्त प्रह्लाद को होलिका द्वारा जलाए जाने के पहले आठ दिन तक प्रह्लाद को मारने के लिए हिरण्यकश्यप ने उसे तमाम शारीरिक प्रताड़नाएं दीं, इसलिए इन आठ दिनों को अशुभ माना जाता है।

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गुरुवार को मीन संक्रांति है। इस दिन सूर्य मीन राशि में परिवर्तन हो रहे हैं। सूर्य 14 मार्च से लेकर 13 अप्रेल तक इसी राशि में विराजमान रहेंगे। सूर्य के मीन राशि में गोचर करने से खरमास शुरू हो जाएगा। यह खरमास एक महीने तक रहेगा। शास्त्रों में खरमास के शुरू होने पर शुभ और मांगलिक आयोजन जैसे विवाह, सगाई, गृहप्रवेश, मुंडन और जनेऊ जैसे मांगलिक और धार्मिक संस्कार नहीं होते हैं।

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