दुनिया भर में जेहाद का जहर फैलाने वाली आइएसकेपी की साइबर सेल दक्षिण भारत में अधिक सक्रिय है। इस्लामिक कट्टरवाद से प्रभावित होकर वह आइएसकेपी से जुड़ी थी। वह आइएसकेपी के हेंडलर अबु हमजा व कश्मीरी युवक जुबैर मुंशी के सीधे संपर्क में थी।
इंटरनेट का उपयोग कर वह 16-18 वर्ष के मुस्लिम युवकों को लव जेहाद की ट्रेनिंग देती थी। पोरबंदर में पकड़े गए उसके साथियों से पूछताछ में उसका नाम सामने आने पर संयुक्त जांच टीम देर रात उसके घर पर छापा मारा।
जांच एजेन्सियों को उसके घर से चार मोबाइल, आइएसकेपी से जुड़े वीडियो, ऑडियो, फोटोज, कट्टरवादी विचारधारा से जुड़ा साहित्य, आइएसकेपी के कमांडर (अमीर-उल-मोमीनीन) के प्रति निष्ठा पत्र बरामद हुआ है। पकड़े गए अन्य युवकों की तरह वह भी पोरबंदर के रास्ते ईरान और फिर अफगानिस्तान जाकर आतंकी बनना जाहती थी।