राजापुर मार्ग का निर्माण के चलते नहीं निकल पा रहे वाहन
राजापुर से त्योंथर को जोडऩे वाले मार्ग का निर्माण कार्य चल रहा है जिसकी वजह से आवागमन बाधित है। वैकल्पिक मार्ग नहीं बनाया गया है जिससे बाइक किसी बड़ी मुश्किल से किनारे से निकल पाती है। इसकी वजह से अब नाव में दबाव काफी बढ़ गया है। अब ज्यादातर लोग नाव से नदी पार करके त्योंथर पहुंच जाते है। फलस्वरूप नावों में ओवर लोडिंग बढ़ गई है और क्षमता से अधिक लोगों को बैठाकर नावों से नदी पार करवाई जा रही है। नावों में दस से बारह की संख्या में लोगों को बैठाकर नदी पार करवाई जानी चाहिए लेकिन वर्तमान में दबाव इतना अधिक बढ़ गया कि पन्द्रह से बीस लोगों को भी बैठाकर नाव से नदी पार करवाई जा रही है।
राजापुर से त्योंथर को जोडऩे वाले मार्ग का निर्माण कार्य चल रहा है जिसकी वजह से आवागमन बाधित है। वैकल्पिक मार्ग नहीं बनाया गया है जिससे बाइक किसी बड़ी मुश्किल से किनारे से निकल पाती है। इसकी वजह से अब नाव में दबाव काफी बढ़ गया है। अब ज्यादातर लोग नाव से नदी पार करके त्योंथर पहुंच जाते है। फलस्वरूप नावों में ओवर लोडिंग बढ़ गई है और क्षमता से अधिक लोगों को बैठाकर नावों से नदी पार करवाई जा रही है। नावों में दस से बारह की संख्या में लोगों को बैठाकर नदी पार करवाई जानी चाहिए लेकिन वर्तमान में दबाव इतना अधिक बढ़ गया कि पन्द्रह से बीस लोगों को भी बैठाकर नाव से नदी पार करवाई जा रही है।
नाव से प्रतिदिन नदी पार करते हैं लोग
त्योंथर के मीर बहरी घाट में हजारों लोग प्रतिदिन नाव से नदी पार करते है। इनमें बड़ी संख्या स्कूली छात्रों की होती है जो यहां पढऩे के लिए आते है और नाव से नदी पार करते है। वर्तमान में नावों में हो रही ओवर लोडिंग हादसे का कारण बन सकती है। वहीं जिम्मेदारों द्वारा उक्त समस्या को लगातार नजरअंदाज किया जा रहा है।
त्योंथर के मीर बहरी घाट में हजारों लोग प्रतिदिन नाव से नदी पार करते है। इनमें बड़ी संख्या स्कूली छात्रों की होती है जो यहां पढऩे के लिए आते है और नाव से नदी पार करते है। वर्तमान में नावों में हो रही ओवर लोडिंग हादसे का कारण बन सकती है। वहीं जिम्मेदारों द्वारा उक्त समस्या को लगातार नजरअंदाज किया जा रहा है।
दर्जन भर घाटों में नावों से नदी पार करते हैं लोग
जवा व त्योंथर तहसील के दर्जन भर से अधिक घाटों में प्रतिदिन लोग नाव से नदी पार करते है। इनमें मलपार घाट, अंजोरा घाट, सतपुरा घाट, पडऱी घाट, कोनी घाट, कुठिला, चांदी, भडऱा घाट, सितलहा, नदहा घाट शामिल है। इनमें कई ऐसे किसान भी है जिनके खेत नदी के दूसरी ओर है और प्रतिदिन वे खेत में काम करने के लिए नाव से ही नदी पार करते है। उनकी खेती का पूरा काम नाव पर ही आश्रित है। एक व्यक्ति का दस रुपए और मोटर साइकिल का बीस रुपए किराया लिया जाता है।
जवा व त्योंथर तहसील के दर्जन भर से अधिक घाटों में प्रतिदिन लोग नाव से नदी पार करते है। इनमें मलपार घाट, अंजोरा घाट, सतपुरा घाट, पडऱी घाट, कोनी घाट, कुठिला, चांदी, भडऱा घाट, सितलहा, नदहा घाट शामिल है। इनमें कई ऐसे किसान भी है जिनके खेत नदी के दूसरी ओर है और प्रतिदिन वे खेत में काम करने के लिए नाव से ही नदी पार करते है। उनकी खेती का पूरा काम नाव पर ही आश्रित है। एक व्यक्ति का दस रुपए और मोटर साइकिल का बीस रुपए किराया लिया जाता है।
पूर्व में चिंहित किये गये थे आठ घाट
पूर्व में जनपद सीईओ राहुल पाण्डेय ने सभी पंचायतों को पत्र जारी कर उन घाटों के संबंध में जानकारी मंगाई थी जहां पर नाव से लोग प्रतिदिन नदी पार करते है। त्योंथर जनपद के आठ घाट ऐसे चिंहित किये गये थे जहां पर लोग नाव का इस्तमाल प्रतिदिन नदी पार करने के लिए करते है।
पूर्व में जनपद सीईओ राहुल पाण्डेय ने सभी पंचायतों को पत्र जारी कर उन घाटों के संबंध में जानकारी मंगाई थी जहां पर नाव से लोग प्रतिदिन नदी पार करते है। त्योंथर जनपद के आठ घाट ऐसे चिंहित किये गये थे जहां पर लोग नाव का इस्तमाल प्रतिदिन नदी पार करने के लिए करते है।