यह भी माना जाता है कि रामचरितमानस की इन चौपाइयों के जाप करने मात्र से मनुष्य के बड़े-से-बड़े संकट भी दूर हो जाते हैं। वहीं ये भी कहा जाता है कि जो व्यक्ति रामचरित मानस का नियमित रूप से पाठ करता है उसकी समस्त मनोकामनाएं पूरी होती है। इसके अलावा अलग-अलग कार्यों के लिए अलग-अलग चौपाईयों का जाप करना भी विशेष माना जाता है।
तो चलिए आज जानते हैं कि सुखी जीवन के उपाय के लिए किन चौपाईयों का जीवन में प्रयोग करना चाहिए, जिससे की हम अपने जीवन को सुखमय बना सकें (मान्यता के अनुसार)-
1. दरिद्रता दूर करने के लिए-
नहि दरिद्र कोऊ दुरूखी न दीना ।
नहि कोऊ अबुध न लक्षण हीना ।
2. विपत्ति दूर करने के लिए-
राजिव नयन धरे धनु सायक ।
भक्त विपत्ति भंजन सुखदायक ।।
3. सब काम बनाने के लिए-
वंदौ बाल रुप सोई रामू ।
सब सिधि सुलभ जपत जोहि नामू ।।
4. संकट से बचने के लिए-
दीन दयालु विरद संभारी ।
हरहु नाथ मम संकट भारी ।।
6. विघ्न विनाश के लिए-
सकल विघ्न व्यापहि नहि तेही ।
राम सुकृपा बिलोकहि जेहि ।।
7. रोग से मुक्ति के लिए-
राम कृपा नाशहि सव रोगा ।
जो यहि भांति बनहि संयोगा ।।
8. दु:ख नाश के लिए-
राम भक्ति मणि उस बस जाके ।
दु:ख लवलेस न सपनेहु ताके ।।
9. घर में सुख लाने के लिए-
जै सकाम नर सुनहि जे गावहि ।
सुख सम्पत्ति नाना विधि पावहिं ।।
10. विद्या पाने के लिए-
गुरू गृह पढन गए रघुराई ।
अल्प काल विधा सब आई ।।
11. प्रेम बढाने के लिए-
सब नर करहिं परस्पर प्रीती ।
चलत स्वधर्म कीरत श्रुति रीती ।।
14. सुख प्रप्ति के लिए-
अनुजन संयुत भोजन करही ।
देखि सकल जननी सुख भरहीं ।।
15. शोक दूर करने के लिए-
नयन बन्त रघुपतहिं बिलोकी ।
आए जन्म फल होहिं विशोकी ।।
16. रक्षा के लिए-
मामभिरक्षक रघुकुल नायक ।
घृत वर चाप रुचिर कर सायक ।।
17. रोजगार पाने के लिए-
विश्व भरण पोषण करि जोई ।
ताकर नाम भरत ***** होई ।।
मान्यता है कि जिस किसी के घर में नियमित रूप से रामचरितमानस का पाठ होता है, तो उसके घर में कभी भी किसी प्रकार की समस्या नहीं आ पाती है। साथ ही घर के लोगों का मन भी सदैव शुद्ध रहता है।