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बड़ी खबर : मोदी सरकार का बड़ा फैसला, देश में इस शब्द के बोलने पर लगा दी रोक

मोदी सरकार का बड़ा फैसला, देश में इस शब्द के बोलने पर लगा दी रोक

रतलामJun 24, 2018 / 01:25 pm

Ashish Pathak

PM Modi Hindi Latest News

रतलाम। केंद्र की नरेंद्र मोदी वाली सरकार ने सिस्टर शब्द के बोलने पर रोक लगा दी है। ये रोक लगाने के आदेश जारी होने के साथ ही लागू भी हो कर दिए गए है। किसी को सिस्टर बोलना सम्मान का शब्द माना जाता है, लेकिन रेलवे को एेसा नहीं लगता। रेलवे ने अंग्रेजों के जमाने से चला आ रहा 100 वर्ष से अधिक पूर्व के उस नियम को बदल डाला है जिसमे रेलवे अस्पताल में नर्स को सिस्टर कहा जाता था। ये बदलाव इसी माह से रतलाम रेल मंडल के रतलाम, उज्जैन, इंदौर, महू, दाहोद के साथ चित्तौडग़ढ़ के रेलवे अस्पताल में लागू कर दिया गया है।

रेलवे में अंग्रेजों के जमाने से चल रही रेलवे अस्पतालों में सिस्टर और मेटर्न पुकारने के कानून को अब बदल दिया गया है। रेलवे अस्पताल के नर्सिंग स्टॉफ, सिस्टर और मेटर्न कहकर बुलाए जाने वाले कर्मचारियों के पदनाम उच्च कर दिए गए हैं। अब सिस्टर नहीं बल्कि सीनियर नर्सिंग सुप्रींटेंडेंट कहेंगे। 13 जून को ही रेलवे ने आदेश जारी करके नर्सिंग स्टॉफ में खुशियां भर दी हैं। सिस्टर तो अब आम बोल चाल की भाषा बन गई थी।

यूनियन ने उठाया था ये मामला

असल में रतलाम में वेस्टर्न रेलवे एम्प्लाइज यूनियन ने इसके लिए मंडल से लेकर पश्चिम रेलवे व बोर्ड तक प्रस्ताव पहुंचाया था। यूनियन की बैठक में नर्सिंग स्टॉफ ने कहा था, उनके पदनाम अंग्रेजी शासन से चले आ रहे हैं। सिस्टर तो अब आम बोल चाल की भाषा हो गई है। पदनाम ऐसे होने चाहिए, जिसे कहने में गर्व महसूस हो। इसके बाद ही इस कार्य की रुपरेखा बनाई गई। मंडल में संगठन के मंडल मंत्री एसबी श्रीवास्तव ने रेलवे बोर्ड को पत्र भेजा, जिसमें नर्सिंग स्टॉफ को नर्सिंग ऑफीसर और नर्सिंग सिस्टर को सीनियर नर्सिंग ऑफीसर पद नाम का सुझाव दिया था। रेलवे बोर्ड के ज्वाइंट डायरेक्टर पे कमीशन ने मामले को गंभीरता से लिया।

बोर्ड की बैठक में हुआ ये निर्णय

यूनियन के प्रवक्ता प्रकाश व्यास ने बताया कि रेलवे बोर्ड में हर माह विशेष मामलों पर चर्चा करने के लिए बैठक होती है। जून माह में हुई बैठक के पूर्व बोर्ड के अधिकारियों की इस मामले में चर्चा हुई। इसके बाद बोर्ड की बैठक में यूनियन के मांग पत्र को रखा गया, जिसमें बोर्ड ने अंग्रेजी शासन के पदनाम बदलाव पर मोहर लगा दी। नर्सिंग स्टॉफ के पदनाम बदलने का 13 जून को आदेश जारी कर दिया। बोर्ड के आदेश पत्र की कॉपी को सभी रेलवे अस्पताल और प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों को भेज दी गई। स्टॉफ नर्स को नर्सिंग सुप्रींटेंडेंट, नर्सिंग सिस्टर को सीनियर नर्सिंग सुप्रीटेंडेंट और चीफ मेटर्न को चीफ नर्सिंग सुप्रीटेंडेंट पद नाम दिया है। मंडल में आदेश का पालन शुरू हो गया है।

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