गढ़चिरौली पुलिस से मिली जानकारी के अनुसार नक्सलवाद के खोखले दावों और नागरिकों के खिलाफ उनकी विवेकहीन हिंसा से निराश होकर प्रतिबंधित सीपीआई (माओवादी) के बड़ी संख्या में सदस्य 2005 से महाराष्ट्र सरकार द्वारा लागू की गई आत्मसमर्पण सह पुनर्वास नीति की ओर आकर्षित हुए हैं। इस नीति के तहत अब तक कुल 668 सक्रिय नक्सलियों ने गढ़चिरौली पुलिस के सामने आत्मसमर्पण किया है।
Naxal Surrender: 20 एनकाउंटर समेत प्रमिला पर 40 मामले
बुधवार को दो कट्टर महिला नक्सली प्रमिला सुखराम बोगा उर्फ मंजूबाई (36) प्लाटून पार्टी समिति सदस्य निवासी बोगाटोला (गजामेंधी) गढ़चिरौली और अखिला शंकर पुडो उर्फ रत्नमाला उर्फ आरती (40) प्लाटून पार्टी समिति सदस्य निवासी मार्केगांव गढ़चिरौली ने पुलिस के सामने आत्मसमर्पण किया। प्रमिला सुखराम बोगा 2005 से 2022 तक पीपीसीएम (प्लाटून पार्टी कमेटी सदस्य) के रूप में काम कर रही थी। उसके खिलाफ 40 अपराध दर्ज हैं। जिसमें 20 एनकाउंटर, 2 आगजनी और 18 अन्य अपराध शामिल हैं।
अखिला शंकर पर 7 मामले हैं दर्ज
वहीं अखिला शंकर पुडो ने 2010 से अब तक पीपीसीएम (प्लाटून पार्टी कमेटी सदस्य) के रूप में काम किया। उसके खिलाफ कुल 7 अपराध दर्ज किए गए हैं। इनमें से 2 मुठभेड़, 4 हत्याएं और 1 अन्य अपराध शामिल है। दोनों पर सरकार ने 8-8 लाख रुपए का इनाम घोषित किया था।