बताया जाता है कि सूखे की स्थिति को लेकर राज्य सरकार भी चिंतित है। यही वजह है कि राजस्व एवं आपदा प्रबंधन विभाग ने सभी कलेक्टरों को पत्र लिखकर 31 अगस्त तक की स्थिति में रिपोर्ट मंगाई है। रिपोर्ट देने के लिए 7 सितम्बर तक का समय दिया गया है। माना जा रहा है कि 8 सितम्बर को होने वाली राज्य मंत्रिपरिषद की बैठक में इस रिपोर्ट को भी रखा जाएगा। रिपोर्ट के आधार पर आगे का फैसला होगा।
बता दें कि मुख्यमंत्री बघेल ने पहले ही घोषणा कर दी है कि पंजीकृत किसानों के खेत में फसल हो या न हो, उन्होंने प्रति एकड़ 9 हजार रुपए की सहायता राशि दी जाएगी। बैठक में इस पर भी चर्चा होगी। वहीं राजस्व पुस्तिका 6.4 के तहत मुआवजा देने पर भी बातचीत होने की संभावना है। इसके अलावा राजीव गांधी ग्रामीण भूमिहीन किसान मजदूर न्याय योजनाओं सहित अन्य महत्वपूर्ण बिंदुओं पर भी चर्चा होने की संभावना है।