जानकारी के अनुसार रविवार को राजसमंद जिले के आमेट ब्लॉक के माणकदेह गांव के महात्मा गांधी राजकीय विद्यालय के स्कूली बच्चें निजी बस से सादडी स्थित परशुरामजी मन्दिर दर्शन को आ रहे थे। सुबह करीब 10 बजे देसूरी नाल घाट सेक्शन में पंजाब मोड़ के निकट ब्रेकफेल होने से बस सड़क पर पलट गईं। सूचना मिलते ही देसूरी-चारभुजा प्रशासन पहुंचा। बस में घायल 12 बच्चों को देसूरी अस्पताल लाया गया। अन्य घायलों को चारभुजा अस्पताल ले जाया। हादसे में तीन छात्राओं की मौत हो गई। मृतकों के शवों को कब्जे में लेते हुए मोर्चरी में रखवाया। मृतकों की वास्तविक शिनाख्तगी के लिए देसूरी अस्पताल में उपचाराधीन छात्रों को चारभुजा अस्पताल लाया। जिसके बाद मृतकों की शिनाख्त की गई। वही, दुर्घटना में मामूली चोटिल 35 स्कूली छात्रों को प्रशासन ने रोड़वेज बस से मूलतःगांव भेज दिया। जबकि 16 गम्भीर घायलों का राजसमंद के आरके अस्पताल में रैफर किया। बस में कक्षा छह के 17 बच्चें, कक्षा सात के 19 बच्चे व कक्षा आठ के 26 बच्चे सवार थे। साथ में 5-6 शिक्षक भी थे। उधर, राजसमंद मुख्य जिला शिक्षा अधिकारी का कहना है कि स्कूल प्रबंधन ने कोई परमिशन नहीं ली थी। मामले की जांच करते हुए दोषी स्टाफ पर कार्रवाई करेंगे।
मृतकों की पहचान
हादसे में माणदेह निवासी ललिता पुत्री प्रकाश नट, आरती पुत्री मीठालाल नट व प्रीति पुत्री पिंटूसिंह की मौत हो गई। तीन दिन पहले बना था कार्यक्रम
मृतक छात्रा ललिता व आरती के चाचा हिम्मत नट ने बताया कि स्कूल में पिकनिक के लिए तीन दिनों से तैयारी चल रही थी। प्रति छात्र-छात्रा पर 300 रुपये की शुल्क रखी थी। रविवार को छात्राएं उत्साहपूर्वक सुबह जल्दी उठकर तैयार हो गई। खाने का टिफिन बैग में डालकर सुबह आठ बजे घर से रवाना हुए थे। जो पाली जिले में परशुरामजी मन्दिर जाने वाले थे। उन्हें यह नही पता था कि ऐसा हादसा हो जाएगा।
यूं चला घटनाक्रम : दोनों जिलों के कलक्टर-एसपी पहुंचे घटनास्थल
रविवार सुबह घर 8 बजे बस से पिकनिक रवाना हुए। 10 बजे देसूरी नाल में बस पलटी खा गई। फिर प्रशासन ने घायलों को अस्पताल पहुंचाया। आधे घण्टे तक नाल मार्ग बंद रहा। राजसमंद कलक्टर, एसपी,पुलिस व देसूरी तहसीलदार व पुलिस प्रशासन ने रास्ते को सुचारू करवाया। दुर्घनाग्रस्त बस को सड़क से हटवाया। दोपहर में चारभुजा अस्पताल के बाहर मृतक के परिजनों व ग्रामीणों ने सड़क पर बैठकर आधे घण्टे तक प्रदर्शन किया। प्रशासन की समझाइश पर माने और पोस्टमार्टम करवाया। दोपहर में करीब ढाई बजे पाली कलक्टर एल.एन. मंत्री व एसपी चूनाराम जाट ने दुर्घटना स्थल का जायजा लेने पहुंचे।
मोर्चरी के बाहर परिजनों का रो-रोकर बुरा हाल
उधर, चारभुजा मोर्चरी के बाहर मृतक के परिजनों की चीख पुकार से अस्पताल में गमगीन माहौल हो गया। गुस्साए लोग स्कूल के शिक्षकों पर दोषारोपण करते नजर आए। दुर्घटना के बाद कुम्भलगढ़ विधायक सुरेंद्रसिंह, राजसमंद िवधायक ने चारभुजा सीएचसी में घायल बच्चों से मुलाकात की। जिला शिक्षा अधिकारी भी अस्पताल पहुंचे।