निजी स्थान पर शराब पीना अपराध नहीं
दरअसल, केरल हाई कोर्ट में एक याचिका दाखिल कर सरकारी कर्मचारी के खिलाफ 2013 में पुलिस की ओर से दर्ज प्राथमिकी को रद्द करने की मांग की गई थी। जस्टिस सोफी थॉमस ने 38 साल के सलीम कुमार के खिलाफ प्राथमिकी रद्द करने का आदेश दिया है। कोर्ट ने कहा कि केवल शराब की गंध का मतलब यह नहीं लगाया जा सकता है कि वह व्यक्ति नशे में था या किसी प्रकार के शराब के प्रभाव में था। इसे अपराध की श्रेणी में तभी रखा जाएगा, जब शख्स वहां पर कोई उपद्रव करे।
दरअसल, केरल हाई कोर्ट में एक याचिका दाखिल कर सरकारी कर्मचारी के खिलाफ 2013 में पुलिस की ओर से दर्ज प्राथमिकी को रद्द करने की मांग की गई थी। जस्टिस सोफी थॉमस ने 38 साल के सलीम कुमार के खिलाफ प्राथमिकी रद्द करने का आदेश दिया है। कोर्ट ने कहा कि केवल शराब की गंध का मतलब यह नहीं लगाया जा सकता है कि वह व्यक्ति नशे में था या किसी प्रकार के शराब के प्रभाव में था। इसे अपराध की श्रेणी में तभी रखा जाएगा, जब शख्स वहां पर कोई उपद्रव करे।
पुलिस ने आरोपी की पहचान करने बुलाया था
बता दें कि केरल पुलिस ने एक सरकारी कर्मचारी के खिलाफ अधिनियम की धारा 118 (ए) के तहत मामला दर्ज किया था, जिसमें कहा गया था कि जब उन्हें एक आरोपी की पहचान करने के लिए स्टेशन बुलाया गया था, तो वह शराब के नशे में था। इसके बाद सलीम ने इस मामले पर हाई कोर्ट का रुख किया था।
बता दें कि केरल पुलिस ने एक सरकारी कर्मचारी के खिलाफ अधिनियम की धारा 118 (ए) के तहत मामला दर्ज किया था, जिसमें कहा गया था कि जब उन्हें एक आरोपी की पहचान करने के लिए स्टेशन बुलाया गया था, तो वह शराब के नशे में था। इसके बाद सलीम ने इस मामले पर हाई कोर्ट का रुख किया था।
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