Sensex का बुरा हाल
बीते एक साल में सेंसेक्स और निफ्टी का काफी बुरा हाल देखने को मिला है। पहले बात बांबे स्टॉक एक्सचेंज का प्रमुख सूचकांक सेंसेक्स बीते एक साल में 7407 अंकों तक टूट गया है। 30 मई 2019 को जब नरेंद्र मोदी ने प्रधानमंत्री पद की दोबारा से शपथ ली तब सेंसेक्स 39831.97 अंकों पर बंद हुआ था। जबकि शुक्रवार को शेयर बाजार 32,424.10 अंकों पर बंद हुआ। बाजार विषलेशक एक साल पहले यही उम्मीद लगा रहे थे कि मोदी सरकार दोबारा रिपीट होती है तो सेंसेक्स 44 हजार के पार जाएगा। कोरोना वायरस के कहर से पहले ही सेंसेक्स के पांव उखडऩे शुरू हो गएण् थे। पूरे साल सेंसेक्स में उतार चढ़ाव का दौर जारी रहा। आपको बता दें सेंसेक्स 23 मार्च 2020 को 25,981.24 अंकों के साथ अपने न्यूनतम स्तर पर पहुंच गया था। 14 जनवरी को 41,952.63 अंकों के साथ अपने उच्चतम स्तर पर बंद हुआ था।
Nifty 50 भी टूटा
वहीं नेशनल स्टॉक एक्सचेंज का प्रमुख सूचकांक निफ्टी की करें तो इसमें भी एक साल के अंदर बड़ी गिरावट देखने को मिली हैं। इस एक साल में निफ्टी 2365.60 अंकों तक टूट गया। 30 मई 2019 को निफ्टी 11,945.90 अंकों पर बंद हुआ था, जबकि एक साल के बाद शुक्रवार को निफ्टी 9,580.30 अंकों पर बंद हुआ है। बाजार विशषकों को एक साल पहले काफी उम्मीद थी कि निफ्टी नए आयाम छुएगा, लेकिन ऐसा नहीं हो सका। निफ्टी पूरे साल उतार-चढ़ाव के बीच झूलता रहा। वैसे बीते सप्ताह में निफ्टी ने हल्की रिकवरी देखी है। आपको बता दें कि 14 जनवरी को निफ्टी 12,362.30 अंकों के साथ साल के उच्चतम स्तर पर था। वहीं 23 मार्च को निफ्टी 7,610.25 अंकों के साथ साल के न्यूनतम स्तर पहुंच गया था।
Market Investors को 27 लाख करोड़ का नुकसान
अगर एक साल में बाजार निवेशकों की बात करें तो उनका नुकसान 27 लाख करोड़ करोड़ रुपए का हो चुका है। खास बात तो ये है कि यह नुकसान कुल जीडीपी का 10 फीसदी है। जबकि हाल ही के दिनों में सरकार की ओर से कोरोना पैकेज के नाम पर 20 लाख करोड़ रुपए का पैकेज दिया था। एक साल पहले 30 मई 2019 को बीएसई का मार्केट कैप 1,54,43,363.95 करोड़ रुपए था जो आधा रहकर 1,27,06,528.94 करोड़ रुपए हो गया है। आपको बता दें कि 15 जनवरी को बीएसई का मार्केट कैप 1,60,57,157.62 करोड़ के साथ उच्चतम स्तर पर पहुंच गया था।
सिर्फ 10 फीसदी Shares ने दिया Double Digit Return
अगर बात शेयरों की करें तो उनका हाल भी काफी बुरा है। बीत एक साल में कुल 2684 शेयरों में 2308 शेयरों ने नुकसान पहुंचाया है। वहीं सिर्फ बीएसई के 359 शेयर ऐसे हैं जिन्होंने पॉजटिव रिटर्न देने की कोशिश की है, जो कि कुल स्टॉक्स के 13 फीसदी हैं। वहीं इनमें से भी 269 स्टॉक्स ऐसे हैं जिन्होंने डबल डिजिट में रिटर्न दिया है, जो कुल स्टॉक्स का 18 फीसदी है।