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खंडवा

आरक्षक से मारपीट के बाद भी जंक्शन पर नहीं अवैध वेंडर्स पर अंकुश

खंडवा.
रेलवे जंक्शन पर आरपीएफ आरक्षक के साथ मारपीट होने के बाद भी अवैध वेंडर्स पर अंकुश नहीं लगा है। प्लेटफॉर्म पर ट्रेन आते ही अवैध वेंडर्स को हुजूम उमड़ पड़ता है। यह यात्रियों को खाद्य सामग्री के साथ ही प्रतिबंधित धूम्रपान की वस्तुएं भी बेच रहे हैं। बावजूद इनके खिलाफ कार्रवाई में लापरवाही बरती जा रही है। रेल पुलिस ट्रेनों में बिना टिकट यात्रा करने वाले यात्रियों के खिलाफ तो कार्रवाई कर रही है, लेकिन उन्हीं ट्रेनों में अवैध रूप से खाद्य सामग्री बचने वाले वेंडर्स पर कार्रवाई करने की जिहमत भी नहीं उठा पा रही। यहीं कारण है कि ट्रेनों में लगातार अवैध वेडरों की संख्या बढ़ रही है। वेंडरों की मनमानी और दबंगता से यात्रियों को परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है। इसके अलावा यात्रियों की सुरक्षा को भी हमेशा खतरा बना रहता है।

खंडवाNov 03, 2018 / 12:39 pm

राहुल गंगवार

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ट्रेनों और बोगियों का करते हैं बंटवारा

जानकारों की मानें तो अवैध वेंडर्स को चलाने वाले ठेकेदार ट्रेनों और बोगियों का बंटवारा करते हैं। जिनमें एक जैसी खाद्य सामग्री बेचने वाले वेंडर आपस में बोगियां बांट लेते है। इस बंटवारे को लेकर कई बार वेंडर्स के गुटों में विवाद की स्थिति बनती है। विगत दिनों बुरहानपुर रेलवे स्टेशन पर वेंडर्स के गुटों में विवाद के मामले भी सामने आ चुके हैं। अवैध वेंडर्स ट्रेनों में चने, चाय, पाउच, पानी, कोल्ंिडक्स से लेकर बीड़ी, सिगरेट, गुटखा, तंबाकू आदि कई तरह की सामग्री बेचते है। इतना ही नहीं यह वेंडर्स दूषित और बांसी खाद्य सामग्री भी यात्रियों को परोसने में परहेज नहीं करते है।
यात्रियों की सुरक्षा को खतरा

स्लीपर कोच से लेकर एसी कोच तक अवैध वेंडर्स की बेरोकटोक घुसपैट को देखते हुए यात्रियों के सुरक्षा पर सवालियां निशान खड़े हो रहे हैं। सफर के दौरान यात्रियों को हमेशा भय बना रहता है। क्योंकि अवैध वेंडर्स में कुछ आपराधिक प्रवृत्ति के लोग भी शामिल है। वहीं ट्रेनों में सामग्री बेचते समय यह वेंडर यात्रियों से अभद्रता करने के साथ ही कई बार मारपीट पर भी उताऊ हो जाते हैं। हीं हो रही है। प्रतिदिन यहां कई यात्री परेशान होते हैं। यात्री यहां खड़े होकर इंतजार करते रहते हैं, और कई बार बसें यहां पहुंचती ही नहीं है। ऐसे में यात्रियों को बहुत परेशान होना पड़ता है।
मारपीट के आरोपी को मिली अग्रिम जमानत
इधर, रेलवे स्टेशन के प्लेटफॉर्म एक पर आरपीएफ आरक्षक शिवशंकर भदौरिया से मारपीट करने वाले आरोपी केंटीन कर्मचारी मुश्ताक खान को न्यायालय ने अग्रिम जमानत दी है। शुक्रवार को एडिशनल शेसन न्यायाधीश केपी मरकाम की कोर्ट ने जमानत अर्जी पर सुनवाई की। अधिवक्ता देवेंद्र यादव ने कोर्ट में तर्क रखते हुए कहा आरोपी निर्दोष है। आरपीएफ आरक्षक की अवैध मांग पूरी नहीं किए जाने से उसने उल्टा आरोपी के साथ मारपीट की और रुपयों की मांग की। जिसकी शिकायत आरोपी द्वारा अधिकारियों से की गई, लेकिन आरक्षक पुलिस वाला है। इसी के चलते आरक्षक ने जीआरपी थाने में मुश्ताक के खिलाफ गालीगलौज, मारपीट करने और वर्दी फाडऩे, नेम प्लेट तोडऩे का अपराध दर्ज कराया है। इसी तर्क पर न्यायालय ने आरोपी को अग्रिम जमानत दी है।

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