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सूर्यनगरी में अलसुबह पांच बजे से अचानक से मौसम बदलना शुरू हो गया। छह बजते-बजते तेज हवा चलने लगी। खुले में रखा हल्का सामान इधर-उधर हो गया। बादलों की तेज गर्जना के साथ बौछारें शुरू हुई। करीब 30 से 40 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से चली हवा ने एकबारगी सुबह-सुबह ही तूफानी मौसम का अहसास करा दिया। करीब एक घंटे तक ऐसा ही मौसम रहा। हल्की बारिश से सड़कों पर पानी भर गया। मौसम विभाग ने सुबह 21.9 डिग्री तापमान और 1.3 मिलीमीटर बारिश रिकॉर्ड की। दिन ढलने के बाद मौसम कुछ खुलना शुरू हुआ ही था कि दोपहर ढाई बजे एक बार फिर से बरसाती मौसम हो गया। शाम होते होते फिर से छींटे गिरने शुरू हो गए जो देर शाम मूसलाधार में बदल गए। अधिकतम तापमान 35.3 डिग्री रहा।
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बदले मौसम ने लगाया चौराहों व सड़कों पर जामशहर में सोमवार शाम को अचानक बदले तूफानी मौसम के बाद मुख्य मार्गों और चौराहों पर जाम लग गया। पावटा चौराहा, सोजती गेट, जालोरी गेट, पांच बत्ती सहित कई चौराहों पर वाहन रेंग-रेंग कर चल रहे थे। पावटा से लेकर जालोरी गेट तक ट्रेफिक की स्थिति काफी खराब हो गई। वाहन चालकों को निकलने के लिए आधे घंटे से एक घंटे तक का समय लगा। ट्रेफिक जाम के कारण कई जगह वाहन चालक एक जगह खड़े होने पर मजबूर हो गए। बादल-बरसात के मौसम से हवा में नमी बढ़ने से एकदम से मौसम में ठंडक भी घुल गई। तेज ठंडी हवा भी दिनभर चलती रही। हालांकि बुधवार को तापमान गिरने के बाद ही हल्की सर्दी अधिक महसूस होगी।
अरब सागर से आई नमी
मौसम विभाग के अनुसार पश्चिमी विक्षोभ की सक्रियता से थार के ऊपर प्रेरित परिसंचारी तंत्र बन गया। उधर, अरब सागर से नमी आ गई। नमी युक्त हवा और थार की शुष्क हवा के टकराव से मेघगर्जन की स्थिति बनी।
शहर में वाहनों की संख्या अधिक बढ़ने के साथ ही सड़कें भी छोटी पड़ रही है। इससे आए दिन ट्रेफिक जाम की स्थिति बनती है। इसी के साथ ट्रेफिक पुलिसकर्मियों में दक्षता का अभाव भी कोढ़ में खाज का काम करता है। ट्रेफिक जाम का पता लगने के बावजूद संबंधित चौराहों व मार्ग पर ट्रेफिक पुलिसकर्मी आवश्यकता से कम रहते हैं।
मौसम विभाग के अनुसार पश्चिमी विक्षोभ की सक्रियता से थार के ऊपर प्रेरित परिसंचारी तंत्र बन गया। उधर, अरब सागर से नमी आ गई। नमी युक्त हवा और थार की शुष्क हवा के टकराव से मेघगर्जन की स्थिति बनी।
शहर में वाहनों की संख्या अधिक बढ़ने के साथ ही सड़कें भी छोटी पड़ रही है। इससे आए दिन ट्रेफिक जाम की स्थिति बनती है। इसी के साथ ट्रेफिक पुलिसकर्मियों में दक्षता का अभाव भी कोढ़ में खाज का काम करता है। ट्रेफिक जाम का पता लगने के बावजूद संबंधित चौराहों व मार्ग पर ट्रेफिक पुलिसकर्मी आवश्यकता से कम रहते हैं।
वाहन चालकों में ट्रेफिक सेंस कम
दुपहिया और चार पहिया वाहन चालकों में ट्रेफिक सेंस की कमी भी शहर में ट्रेफिक जाम की समस्या का और बढ़ा रही है। जल्दी से जल्दी गंतव्य तक पहुंचने की मंशा के कारण कई चालक अपने वाहन गलत रुट पर डाल देते हैं। चौराहों पर ग्रीन सिग्नल होने से पांच से दस सैकेंड पहले ही रवाना होकर दूसरी ट्रेफिक लाइन को डिस्टर्ब करते हैं। शहर में शाम को तूफानी बारिश के बावजूद कई ट्रेफिक पॉइंट पर ऐसे ट्रेफिक पुलिसकर्मी भी तैनात थे, जिन्होंने भीगते हुए ड्यूटी की और यातायात को संभालने का प्रयास किया। सड़कें टूटी और वाहनों की हैडलाइटों की चकाचौंक के बावजूद कुछ जगह पुलिसकर्मी मुस्तैद नजर आए।
दुपहिया और चार पहिया वाहन चालकों में ट्रेफिक सेंस की कमी भी शहर में ट्रेफिक जाम की समस्या का और बढ़ा रही है। जल्दी से जल्दी गंतव्य तक पहुंचने की मंशा के कारण कई चालक अपने वाहन गलत रुट पर डाल देते हैं। चौराहों पर ग्रीन सिग्नल होने से पांच से दस सैकेंड पहले ही रवाना होकर दूसरी ट्रेफिक लाइन को डिस्टर्ब करते हैं। शहर में शाम को तूफानी बारिश के बावजूद कई ट्रेफिक पॉइंट पर ऐसे ट्रेफिक पुलिसकर्मी भी तैनात थे, जिन्होंने भीगते हुए ड्यूटी की और यातायात को संभालने का प्रयास किया। सड़कें टूटी और वाहनों की हैडलाइटों की चकाचौंक के बावजूद कुछ जगह पुलिसकर्मी मुस्तैद नजर आए।
बारिश के बाद पानी भर गया था और वाहन चालक भी एक साथ सडक़ों पर आ गए। गंतव्य तक पहुंचने की जल्दी में कुछ जगह ट्रेफिक जाम की स्थिति
बनी थी।
– भोपालसिंह लखावत, अतिरिक्त पुलिस उपायुक्त, ट्रेफिक