हरियाणा, पंजाब व मध्यप्रदेश भी उद्योगों को राजस्थान के मुकाबले कम दर पर बिजली सप्लाई कर रहा है। इसीलिए कई उद्योगपति इन राज्याें को प्राथमिकता देते आए हैं। उद्योग जगत प्रदेश में बिजली दर कम करने की मांग इसी तर्क से करता रहा है कि
बिजली सस्ती होगी तो उत्पादन लागत भी कम होगी और निवेश भी तेजी से आएगा।
राज्य सरकार बिजली उत्पादन में आत्मनिर्भर बनने की दिशा में काम तो कर रही है, लेकिन राइजिंग राजस्थान ग्लोबल इन्वेस्टमेंट समिट में आने वाले उद्योगपति और निवेशक मौजूदा बिजली दर का भी दूसरे राज्यों से आकलन कर रहे हैं। सरकार इस पर फोकस करे तो प्रदेश में उद्योगों की संख्या और तेजी से बढ़े।
सस्ती बिजली पर टिका ज्यादा निवेश
बिजली सस्ती होगी तो औद्योगिक निवेश भी तेजी से आएगा, क्योंकि उत्पादन लागत कम आएगी। औद्योगिक संगठन लगातार सरकार से इसी तर्क पर बात करते आए हैं। हालांकि, डिस्कॉम्स बिजली दर कम करने की बजाय सरकार को सब्सिडी देने के लिए कहते रहे।