सर्वे में 80 फीसदी लोगों ने कहा है कि, चुनाव के समय नेता प्रचार के लिए तो आ रहे हैं, लेकिन हमसे मुद्दे नहीं पूछे जाते। इतना ही नहीं, जनता के जो मुद्दे हैं, उस पर बात नहीं की जा रही है। लोगों का कहना है कि, उनके मुद्दों को नेता अपने एजेंडे में शामिल नहीं करते। सर्वे में 56 फीसदी लोगों ने कहा है कि सरकारें अभी तक हमारी समस्याओं का समाधान नहीं कर पाई।
1. प्रत्याशी जिन मुद्दों के साथ चुनाव लड़ रहे हैं, क्या आप उनसे सहमत हैं ?
हां: 27.1
ना: 72.9
2. क्या प्रत्याशी आपके पास आपकी समस्या या मुद्दे पूछने आए?
हां: 9.2
ना: 90.8
3. आप चाहते हैं कि नेता आपसे ही चुनावी मुद्दे पूछें और उन्हें अपने एजेंडे में शामिल करें ?
हां: 83.7
ना: 16.3
4. क्या आपके कुछ ऐसे मुद्दे हैं, जिन्हें कोई प्रत्याशी मुद्दा नहीं बनाता?
हां: 80.4
ना: 19.6
5. क्या आपके पास जो मुद्दे हैं, उनका समाधान सरकारें कर पाई हैं?
हां: 8.1
ना: 56.6
कुछ-कुछ हुआ है: 35.4
6. आपके आस-पास कौनसे मुद्दे हैं जिनको एजेंडे में शामिल करना चाहिए ?
पेयजल-बिजली: 00
सडक़, सफाई: 4.1
ट्रैफिक, सार्वजनिक परिवहन, अतिक्रमण, पार्किंग: 10.2
स्वास्थ्य व शिक्षा: 10.2
महिला सुरक्षा, साइबर क्राइम: 8.2
उपरोक्त सभी: 67.3