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जबलपुर

यहां भी गायों में लम्पी बीमारी से दहशत, वैक्सीनेशन की नहीं तैयारी

जबलपुर में अभी तक शुरू नहीं हुए प्रयास

जबलपुरSep 22, 2022 / 08:51 pm

shyam bihari

कोरोना की तरह ही करता है व्यवहार

जबलपुर। गायों में लम्पी स्किन डिजीज (एलएसडी ) को लेकर पशुपालकों में दहशत है। पशुपालन विभाग एवं वेटरनरी अस्पताल के पास लम्पी डिसीज के मामले सामने नहीं आए हैं, फिर भी जिले में अभी तक पशुओं के वैक्सीनेशन को लेकर कोई पहल शुरू नहीं हो सकी है। जिले में पशुपालकों की बडी संख्या है। वैक्सीन की उपलब्धता के साथ ही पशुपालकों को जागरूक करने की दिशा में भी अभी तक गंभीरता से पहल नहीं हो सकी है। प्रदेश के 11 जिलों में अभी तक लम्पी वायरस की पुष्टि हो चुकी है। सर्वाधिक मामले मालवांचल में सामने आए हैं। प्रदेश में 2542 संक्रिमत पशुओं की पहचान हुई है।

एक गाय में दिखे लक्षण

ग्वारीघाट क्षेत्र में स्थानीय लोगों ने एक गाय में एलएसडी के लक्षण देखे हैं। जिसके बाद से पशुपालकों में डर पैदा हो गया है। श्मशान घाट के पास घूमती हुई एक गाय के शरीर पर गांठें देखी गई हैं।वीयू ने कलेक्ट किए सेम्पल

पशु चिकित्सा कॉलेज और अस्पताल को बीमारियों के निदान और उपचार के लिए उप केंद्र बनाया गया है। रतलाम और मंदसौर से 40 गायों के सैम्पल कलेक्ट किए हैं। फिलहाल सेम्पलों की जांच की जा रही है। सस्पेक्टेड गायों गायों की स्क्रीनिंग कर ब्लड, टिश्यू सैम्पल, मुंह आंख के स्वाब लिए गए हैं।

 

संक्रामक बीमारीविशेषज्ञों का कहना है कि मवेशियों या भैंस के पॉक्सवायरस लम्पी स्किन डिज़ीज़ वायरस के संक्रमण के कारण होता है। इसमें गायों के शरीर में गांठें बन जाती हैं। यह संक्रामक बीमारी होने के कारण भी एक स्थान से दूसरे स्थान पर फैलने का खतरा बना रहता है। इसे लेकर भी पशुपलान विभाग हरकत में आया गया है।

 

जिले में इस बीमारी से किसी भी गाय की मौत का मामला सामने नहीं आया है। ग्वारीघाट क्षेत्र में गाय में एलएसडी के लक्षण आने की अधिकृत जानकारी नहीं आई है। हम मामले की जांच करा रहे हैं।

-डाॅ.एसके वाजपेयी, उपसंचालक पशुचिकित्सा विभाग

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