news fact- गोंदिया छोर से भी इलेक्ट्रिफिकेशन का काम तेज
ब्रॉडगेज का ट्रैक बनते ही दौड़ेगा इलेक्ट्रिक इंजन
नैनपुर-समनापुर के बीच विद्युतीकरण के लिए पोल, तार सहित आवश्यक सामग्री का भंडारण किया जा रहा है। इस टुकड़े पर ब्रॉडगेज लाइन बिछाने के साथ ही इलेक्ट्रिफिकेशन करने की योजना है। ट्रैक पूरा होने पर जबलपुर से बालाघाट और गोंदिया तक बिजली के इंजन से ट्रेनें दौड़ाने का रास्ता भी खुल जाएगा।
इसलिए इतनी कवायद
जबलपुर-नैनपुर-गोंदिया रेलवे ट्रैक के तैयार होते ही बल्लारशाह के रास्ते उत्तर और दक्षिण भारत के बीच की दूरी करीब 270 किलोमीटर तक कम हो जाएगी। ऐसे में यूपी-बिहार से हैदराबाद-बैंगलूरु के लिए यह नया ट्रैक सीधा रास्ता बन जाएगा। सूत्रों के अनुसार ट्रैक पर नई ट्रेनों के साथ ही गुड्स ट्रेनों का संचालन भी अधिक होगा। नैनपुर में इटारसी के समानांतर आरआरआइ सिस्टम भी स्थापित किया जा रहा है। यही वजह है कि नैरोगेज को ब्रॉडगेज में बदलने की योजना के अंतर्गत जबलपुर-नैनपुर-गोंदिया के बीच रेलखंड के विद्युतीकरण पर रेलवे फोकस कर रहा है।
ऐसा पहली बार
जबलपुर-गोंदिया के बीच नैनपुर-समनापुर के बीच करीब 52 किलोमीटर का ब्रॉडगेज ट्रैक का काम अभी अधूरा है। इसे पूरा करने के लिए दिसंबर 2018 डेडलाइन तय की गई है। समनापुर-बालाघाट-गोंदिया और जबलपुर-नैनपुर के बीच ब्रॉडगेज पर ट्रेनें दौडऩा शुरू हो चुकी है। इन हिस्सों में टुकड़ों-टुकड़ों में महज डेढ़ वर्ष में विद्युतीकरण का कार्य भी तकरीबन पूरा कर लिया गया है। बाकी काम को समय पर करने के लिए रेल विद्युतीकरण विभाग ने बुनियादी तैयारी पूरी कर ली है। जानकारों का मानना है कि यह पहली परियोजना है जिसमें ब्रॉडगेज के साथ ही इलेक्ट्रिफिकेशन का काम भी एक साथ पूरा होगा।
ऐसे समझें
229 किमी लंबी है जबलपुर-गोंदिया ब्रॉडगेज परियोजना
194.3 करोड़ रुपए है इलेक्ट्रिेफिकेशन योजना की लागत
2016 में विद्युतीकरण योजना को मिली थी स्वीकृति
85 किमी ट्रैक पर जबलपुर-घंसौर के बीच हो चुका है ट्रायल
35 किमी के ट्रैक पर घंसौर-नैनपुर के बीच भी काम करीब पूरा
57 किमी के ट्रैक पर गोंदिया-समनापुर के बीच काम जारी
52 किमी के ट्रैक पर नैनपुर-समनापुर के बीच काम बाकी
2018 (दिसंबर) तक इलेक्ट्रिफिकेशन पूरा करने की तैयारी
दिसंबर, 2018 तक नैनपुर-समनापुर के बीच ब्रॉडगेज का कार्य पूरा करने का लक्ष्य है। इसके साथ ही इलेक्ट्रिफिकेशन का कार्य पूरा करने के लिए प्रयास किए जा रहे हैं। इसे समय-सीमा पर पूरा करने के लिए महाप्रबंधक लगातार निर्माण कार्य की समीक्षा कर रहे हैं।
– प्रकाशचंद्र त्रिपाठी, मुख्य जनसंपर्क अधिकारी, दपूमरे