जीसीएफ स्टेट, वीकल स्टेट, रांझी, गौरीघाट, रामपुर, शास्त्री नगर समेत शहर के कई इलाकों में डेंगू के मरीज लगातार मिल रहे हैं। वहीं बड़ी संख्या में संदिग्ध मरीज चिकित्सकीय परामर्श पर घरों में ही इलाज ले रहे हैं।
2018 याद आ गया
स्थिति ये है कि शहरवासियों को वर्ष 2018 याद आ गया है। क्योंकि हालात कुछ वैसे ही बन रहे हैं… जब हर घर में लोग बीमार पड़े थे और ज्यादातर इलाके डेंगू, चिकुनगुनिया, लंगड़ा बुखार के हॉट स्पॉट बन गए थे। इतना ही नहीं लोगों को पूरी तरह से स्वस्थ होने में महीनों का समय लग गया था। ये भी पढ़ें: Vande Bharat Sleeper Train: इस शहर से दौड़ेगी पहली वंदे भारत स्लीपर ट्रेन , हवाई यात्रा जैसा होगा सफर MP Weather Alert: बारिश का स्ट्रॉन्ग सिस्टम एक्टिव, 25 से ज्यादा जिलों में अतिभारी बारिश की चेतावनी
समय रहते लार्वा विनिष्टीकरण के प्रयास नहीं
नगर निगम और स्वास्थ्य विभाग की टीमें भले ही अब मच्छर और लार्वा विनिष्टीकरण के लिए सर्वे अभियान चला रही हैं, लेकिन हकीकत यही है कि समय रहते इस दिशा में प्रयास नहीं किए गए। हद तो ये कि पिछले कुछ सालों में डेंगू के हॉट-स्पॉट बनने वाले इलाकों पर भी किसी जिम्मेदार ने फोकस नहीं किया। इसका नतीजा ये हुआ कि डेंगू के मच्छर बड़ी संख्या में लोगों को बीमार कर रहे हैं। मरीजों की संख्या लगातार बढ़ रही है।
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