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जबलपुर

Ayushman card fraud : निजी अस्पताल का कारनामा, मरीजों को ही नहीं पता उन्हें क्या हुआ

पुलिस पूछतांछ में बस में सवार लोग यह नहीं बता पाए कि उन्हें क्या बीमारी है और अस्पताल किस लिए जा रहे थे। मामले पर हंगामा बढ़ता देख प्रशासन ने हस्तक्षेप करते हुए जांच शुरू करा दी है।

जबलपुरSep 25, 2024 / 02:25 pm

Lalit kostha

Ayushman card fraud

Ayushman card fraud : मुफ्त इलाज के नाम पर लोगों को जबलपुर के एक निजी अस्पताल लेकर जा रही बस को फर्जीवाड़े के शक में पकड़ा गया है। बस में केवल उन्हें ही बैठाया गया था जिनके पास आयुष्मान कार्ड है। बस को पुलिस के हवाले कर दिया गया है। पुलिस पूछतांछ में बस में सवार लोग यह नहीं बता पाए कि उन्हें क्या बीमारी है और अस्पताल किस लिए जा रहे थे। मामले पर हंगामा बढ़ता देख प्रशासन ने हस्तक्षेप करते हुए जांच शुरू करा दी है।

Ayushman card fraud : बस में आयुष्मान कार्डधारियों को ला रहे थे जबलपुर, फर्जीवाड़ा के शक में रोका

Ayushman card fraud : लोगों को हुआ शक

जानकारी के अनुसार मंगलवार को छपारा क्षेत्र के खटकर-सागर, लुड़गी गांव में मंगलवार की सुबह एक बस के साथ कुछ लोग आए और उन लोगों को बैठाने लगे, जिनके पास आयुष्मान कार्ड और आधार कार्ड हैं।

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गांव के लोगों को शंका हुई कि बस में न तो स्वास्थ्य विभाग का कोई कर्मचारी है, ना ही ग्राम पंचायत का और सरकारी अमले को भी इसकी कोई सूचना नहीं है। जिस अस्पताल के पर्चे बांटे गए थे, उसका भी कोई स्टाफ मौजूद नहीं था। बीएमओ छपारा ने बताया कि इसकी विस्तृत जानकारी अधिकारियों को भेज दी है। जिन लोगों को ले जाया गया था, उनसे बात की जाएगी।
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Ayushman card fraud : विधायक ने कहा, चल रहा गोरखधंधा

विधायक दिनेश राय ने कहा कि कुछ लोग गांव में आकर भोले-भाले लोगों को स्वास्थ्य लाभ के लिए नि:शुल्क कैप लागने की बात कहकर जबलपुर ले जाते हैं, वह लोग उन्हीं को ले जाते है जिनके पास आयुष्मान कार्ड होता है। ग्रामीणों ने सुखसागर मेडिकल कॉलेज का नाम बताया है। उनके साथ ऑपरेशन की फोटोग्राफी की नौटंकी इलाज के नाम पर करके लाखों रुपया निकालते हैं। यह गोरखधंधा पूरे सिवनी जिले मे चल रहा है। जांच कराकर कार्रवाई कराई जाएगी।

Ayushman card fraud : सुखसागर मेडिकल कॉलेज का आया नाम

इस मामले में जबलपुर के सुखसागर मेडिकल कॉलेज का नाम सामने आया है। बस चालक अमजद खान ने बताया कि बस मालिक ने लुडग़ी से लोगों को भरकर सुखसागर मेडिकल कॉलेज के अस्पताल पहुंचाने को कहा गया था। बाकी उसे जानकारी नहीं है। ग्रामीणों की शिकायत पर छपारा पुलिस ने बस को जब्त कर लिया। वहीं स्वास्थ्य विभाग की टीम भी लुडक़ी गांव पहुंची।
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Ayushman card fraud : लंबे समय से चल रहा अस्पताल ले जाने का सिलसिला

टीम ने कहा कि स्वास्थ्य विभाग की तरफ से किसी भी निजी अस्पताल को ग्रामीणों को ले जाने के लिए अधिकृत नहीं किया गया है। पता चला है कि इस तरह आयुष्मान कार्डधारियों को बस से सुखसागर अस्पताल ले जाने का सिलसिला लंबे समय से चल रहा था। इस बहाने क्या चल रहा था, इसका खुलासा पड़ताल से हो सकता है।
सिवनी क्षेत्र में हमारी कोई बस नहीं जाती है। जिस ड्राइवर का नाम सामने आया है, वे उसे जानते नहीं हैं। आयुष्मान कार्ड के जरिए इलाज करवाने की एक प्रक्रिया है। उसकी स्वीकृति लेनी पड़ती है। तब जाकर उसका इस्तेमाल किया जा सकता है। जो बातें सामने आई हैं, उससे हमारा कोई वास्ता नहीं है।

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