अपराधियों की पूरी जानकारी रहेगी एसीपी एसकेएस तोमर के मुताबिक, मुख्यालय के निर्देश पर सभी बदमाशों के फिंगर प्रिंट लिए जा रहे हैं। फॉर्म में आरोपी का नाम, पता, अपराध, मोबाइल नंबर आदि दर्ज किया जा रहा है। यह रिकॉर्ड फिंगर प्रिंट शाखा को भेजा जा रहा है। वहां से सभी का डिजिटल डेटा एएफआइएस के ऑनलाइन सॉफ्टवेयर में अपलोड किया जा रहा है।
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इंदौर शहर में पुलिस कमिश्नर प्रणाली लागू होने के साथ ही नई व्यवस्था की कवायद शुरू हो गई है। सोमवार को डीसीपी आशुतोष बागरी ने जोन-1 के अंतर्गत आने वाले थाना प्रभारियों के साथ बैठक की। बागरी ने शहर के बाहरी हिस्सों को जोड़ने वाले थानों के चौराहों और रास्तों पर सुरक्षा बलों की तर्ज पर मोर्चाबंदी करने के निर्देश दिए। संवेदनशील क्षेत्र में ड्रोन से नजर रखने पर फैसला हुआ है। ड्रोन की व्यवस्था जल्द ही कर ली जाएगी। नई व्यवस्था में नगर सुरक्षा समिति के सदस्यों का भी सहयोग लिया जाएगा।
मोर्चाबंदी का बड़ा फायदा
रिजलाय चौराहे पर मोर्चाबंदी से धार की तरफ से आने वाले बदमाशों पर नजर रखने में आसानी होगी। पीड़ितों की मदद करने डीसीपी ने सभी थाना प्रभारियों को निर्देश दिए हैं कि वे थाने में पहुंचे पीड़ितों की गंभीरता से सुनवाई करें। पीड़ितों को हरसंभव मदद पहुंचाने का प्रयास करें।
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अधिकारियों ने कहा लोग पुलिस को दोस्त मानें। जगह-जगह पुलिस अधिकारियों व बीट के कर्मचारियों के मोबाइल नंबर प्रदर्शित किए जाएंगे। लोग यह नंबर मोबाइल में सेव रखें और परेशानी के समय सूचना दें । एडिशनल डीसीपी राजेश व्यास के मुताबिक, लोगों व पुलिस के बीच संवाद बढ़ाने और उन्हें दोस्त बनाने के लिए ऐसे प्रयास कर रहे हैं।