गंगायात्रा के बाद व्यासपीठ का पूजन किया गया। तत्पश्चात कथाव्यास विष्णु शास्त्री ने भागवत महत्व की कथा सुनाते हुए कहा कि श्रीमद्भागवत की कथा सुनने मात्र से ही कल्याण हो जाता है, इसलिए जहां भी कथा हो, समय निकालकर जरूर कथा श्रवण करें। जितना अधिक आप कथा का श्रवण करेंगे, उतना ही आनंद आपके जीवन में घुलता चला जाएगा।