Dengue Havoc : बेकाबू हो रहे डेंगू से अबतक 5वीं मौत, संक्रमितों का आंकड़ा 1000 के पार
Dengue Havoc in Gwalior : बीते 24 घंटों के दौरान शहर में डेंगू से पांचवी मौत हो गई है। बताया जा रहा है कि परिवार के इकलौते बेटे ने ग्वालियर से इलाज के लिए दिल्ली ले जाते समय रास्ते में दम तोड़ दिया। जबकि अबतक संक्रमितों की संख्या 1000 के पार जा निकली है।
Dengue Havoc in Gwalior :मध्य प्रदेश के ग्वालियर में डेंगू का कहर बेकाबू होता जा रहा है। बीते 24 घंटों के दौरान शहर में डेंगू से पांचवी मौत हो गई है। बताया जा रहा है कि परिवार के इकलौते बेटे ने ग्वालियर से इलाज के लिए दिल्ली ले जाते समय रास्ते में दम तोड़ दिया। 9 साल के अयांश को 7 अक्टूबर को बिड़ला हॉस्पिटल में डेंगू के लक्षण होने पर भर्ती किया गया था। मृतक के परिवार की मानें तो डॉक्टर लगातार हालात में सुधार होने का आश्वासन देते रहे, लेकिन दशहरे की रात अचानक उन्होंने हाथ खड़े करते हुए बच्चे को दिल्ली ले जाने को कहा। आनन फानन में परिवार उसे एम्बुलेंस में लेकर दिल्ली रवाना हुआ, लेकिन रास्ते में ही उसकी मौत हो गई।
अयांश श्रीवास्तव, ग्वालियर के थाटीपुर दर्पण कॉलोनी में रहने वाले प्रवीण श्रीवास्तव का इकलौता बेटा था। वो कक्षा तीसरी का छात्र था। अयांश को कुछ समय से बुखार आ रहा था। 7 अक्टूबर को उसकी हालत अचानक बिगड़ गई, जिसके चलते परिजनों ने बिड़ला अस्पताल लेकर पहुंचे, जहां उसकी हालत देखकर अस्पताल प्रबंधन ने उसे भर्ती कर लिया। डॉ. वीके शर्मा की निगरानी में उसका इलाज चल रहा था। अगले दिन डेंगू की जांच रिपोर्ट भी पॉजिटिव आ गई। प्लेटलेट्स भी तेजी से कम हो रहे थे। इसके बाद भी डॉक्टर लगातार परिवार को हालात में सुधार की बात कहते रहे, लेकिन असल में बच्चे की हालत दिन पर दिन बिगड़ती जा रही थी।
अयांश श्रीवास्तव 6 अक्टूबर को ही 9 साल का हुआ था। उसका जन्मदिन हर साल धूमधाम से मनाया जाता था, लेकिन इस बार उसकी तबीयत ठीक न होने के कारण बड़ा आयोजन नहीं किया गया। परिवार ने घर में ही छोटा सा जश्न किया और सभी ने उसकी लंबी उम्र की कामना की थी, लेकिन सात दिन बाद ही अयांश दुनिया से चला गया।
परिवार का आरोप
बता दें कि 9 साल के अयांश की मौत के बाद उसके पिता प्रवीण श्रीवास्तव और मां का रो-रोकर बुरा हाल है। परिजन ने इलाज में लापरवाही और डॉक्टरों द्वारा लगातार अयांश की हालत उनसे छुपाए रखने का आरोप भी लगाया है। परिजन का मानना है कि शायद पहले दिल्ली के लिए रेफर कर दिया जाता तो अयांश आज जिंदा होता।
ग्वालियर में डेंगू को लेकर स्वास्थ्य विभाग व जिला प्रशासन के दावे खोखले साबित हो रहे हैं। ग्वालियर में जनवरी 2024 से लेकर आज तक 1030 डेंगू के मरीज सामने आए हैं, जबकि पांच लोगों की मौत हो गई है। चार मौत तो 21 सितंबर से 26 सितंबर के बीच सिर्फ पांच दिन में हो गई थीं। एक सितंबर से अभी तक 816 मरीज मिल चुके हैं। इनमें 17 साल से कम उम्र वाले 396 मरीज हैं।
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