LG रौलेबल स्मार्टफोन पर कर रहा काम, इसके डिस्प्ले को रोल करके फोन के अंदर ही फीट किया जा सकेगा
माइक्रोबयॉलजी के क्षेत्र में काम करने वाले शुरुआती वैज्ञानिकों में से एक ग्राम ने ही ‘ग्राम स्टेनिंग तकनीक’ की खोज की थी और इनके द्वारा बताए गए मेथड का प्रयोग उनकी मृत्यु के आठ दशक बाद तक किया जाता है। माइक्रोबयॉलजिस्ट कार्ल फ्राइडलैंडर की बर्लिन लैबोरेटरी में काम करते समय ग्राम ने ‘ग्राम स्टेन’ तैयार किया था। ग्राम ने बैक्टीरिया को उनके कैमिकल रिएक्शन और फिजिकल कंडिशन के आधार पर बांटा था।
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गूगल के होमपेज पर हैंस क्रिश्चियन ग्राम की तस्वीर से लेकर माइक्रोस्कोप, बैक्टीरिया और प्रयोग करने की जरनी को दिखाया गया है। उन्होंने साल 1878 में कोपेनहेगन विश्वविधालय से डॉक्टर ऑफ मेडिसिन की डिग्री हासिल करने के बाद यूरोप में जीवाणु विज्ञान और फार्माकोलॉजी का अध्ययन किया। ग्राम के द्वारा की गई खोज1884 में जर्नल में प्रकाशित हुई जिसमें पहली बार ग्राम पॉजिटिव और ग्राम निगेटिव शब्दों को इस्तेमाल किया गया।