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पश्चिमी उत्तर प्रदेश के मेरठ, सहारनपुर, मुरादाबाद मंडल के पदाधिकारियों को भीड़ जुटाने की जिम्मेदारी सौंपी गई है। बताया जाता है कि प्रियंका गांधी की इस पहली चुनावी जनसभा में 3 लाख से अधिक लोगों की भीड़ जुटाने का लक्ष्य रखा गया है। कांग्रेस महासचिव की जनसभा की तैयारियों के बारे में प्रदेश प्रवक्ता अभिमन्यू त्यागी ने बताया कि पार्टी की इस इस जनसभा कुछ पुराने दिग्गज कांग्रेसी जो कि पार्टी छोड़कर कहीं अन्य चले गए थे, वे भी घर वापसी करेंगे। उन्होंने बताया कि मेरठ के बाद पीएम नरेंद्र मोदी के संसदीय क्षेत्र वाराणसी में भी महासचिव प्रियंका गांधी की जनसभा प्रस्तावित है। खोई जमीन को वापस पाने की योजना कभी देश के सभी प्रांतों और केंद्र में राज करने वाली कांग्रेस पार्टी आज प्रदेश में अपनी खोई जमीन को वापस पाने के लिए 2022 के चुनाव में नए कलेवर के साथ मैदान में उतरने की योजना बना रही है। यूपी कांग्रेस की प्रभारी और पार्टी महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा योगी सरकार को घेरने का कोई भी मौका नहीं छोड़ना चाहती हैं। कांग्रेस पार्टी मेरठ से अक्टूबर को बीजेपी सरकार के खिलाफ बिगुल फूंकने जा रही हैं। प्रदेश से सत्तारूढ भाजपा को उखाड़ फेकने के लिए पार्टी ने नया नारा दिया है ‘बीजेपी गद्दी छोड़ो’, जिसके तहत सभी 403 विधानसभा क्षेत्रों में कांग्रेसी नेता और कार्यकर्ता को विशेष प्रकार की ट्रेनिंग दी जाएगी। इस ट्रेनिंग का पहला दौर समाप्त हो चुका है। जिसमें 100 सीटों पर अब तक पदाधिकारियों और कार्यकर्ताओं को ट्रेनिंग दी जा चुकी है।
महासभा में जो दावेदार उतरेगा खरा वो ही होगा पार्टी का उम्मीदवार प्रियंका गांधी की जनसभा कांग्रेसी टिकट पाने वालों के लिए किसी परीक्षा से कम नहीं है। जनसभा में दावेदारों को अपने समर्थकों की भारी भीड़ एकत्र करनी होगी। दावेदारों द्वारा समर्थकों की एकत्र यही भीड़ उनको कांग्रेस महासचिव की उम्मीदों पर खरा उतारने के बाद टिकट दिलवाने में सहायक होगी। इसी के चलते कांग्रेस ने उम्मीदवारों के आवेदन की तारीख भी बढा दी है।
दमदार प्रत्याशियों को मैदान में उतारने की तैयारी उत्तर प्रदेश में कांग्रेस पार्टी के सामने 2022 के चुनाव में बड़ी चुनौती है। क्योंकि अगर सभी 403 विधानसभा सीटों की बात करें तो इस बार पार्टी दमदार प्रत्याशियों को मैदान में उतारने की तैयारी कर रही है। यूपी कांग्रेस की कमान संभालने के बाद प्रियंका गांधी इसी पर काम कर रही हैं। कांग्रेस 403 विधानसभा क्षेत्रों में खुद को यूपी में खड़ा करना चाहती है। ‘बीजेपी गद्दी छोड़ों’ का नारा भी इसी समीकरण के तहत दिया जा रहा है। यूपी प्रभारी प्रियंका गांधी की साख का सवाल यूपी चुनाव में प्रियंका गांधी की प्रतिष्ठा भी दांव पर रहेगी। क्योंकि 2019 के लोकसभा चुनाव में कांग्रेस अपना गढ़ अमेठी भी हार चुकी है। सिर्फ रायबरेली सीट से कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी ही चुनाव जीतीं थीं। अब 2022 में जब यूपी का चुनाव होने जा रहा है तो पार्टी की कमान पूरी तरह से प्रियंका के हाथों में है।
वहीं पश्चिमी यूपी की एक सीट पर भी कांग्रेस का खाता नहीं खुला था। कांग्रेस के प्रदेश प्रवक्ता अभिमन्यु त्यागी बताते हैं कि प्रदेश की जिन विधानसभा सीटों पर हमारे उम्मीदवार 2017 के चुनाव में दूसरे और तीसरे नंबर पर रहे थे। वहां पर पूरी स्क्रीनिंग के बाद टिकट देने की तैयारी की जा चुकी है। पार्टी इस बार प्रदेश में एक नए संकल्प के साथ चुनाव मैदान में उतर रही है। ये संकल्प भाजपा को उखाड़ फेकने का और कांग्रेस की सरकार बनाने का है।
BY: KP Tripathi
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