bell-icon-header
शिक्षा

शिक्षक के जुनून ने बदली सरकारी स्कूल की तस्वीर

करीब पांच वर्षों से इस स्कूल की जिम्मेदारी संभाल रहे प्रधानाध्यापक अरुण भट ने स्कूल के कायाकल्प में कोई कसर नहीं छोड़ी। आज इस स्कूल के पहली से पांचवीं कक्षा में 26 बच्चे हैं। दो शिक्षक भी नियुक्त किए गए हैं। बच्चे अब डिजिटल शिक्षा Digital Education  से भी जुड़ चुके हैं।

बैंगलोरSep 05, 2024 / 08:20 pm

Nikhil Kumar

-तीन से 26 हुए बच्चे
– डिजिटल शिक्षा भी

एक शिक्षक Teacher  के जुनून ने राज्य Karnataka के एक प्राथमिक सरकारी स्कूल school  को बंद होने से बचा लिया। अभिभावकों, ग्राम पंचायत और दानदाताओं ने भी उल्लेखनीय सहयोग दिया। सिरसी के इस सरकारी स्कूल में केवल तीन बच्चे थे। करीब पांच वर्षों से पढ़ाई नहीं हो रही थी। स्कूल बंदी के कगार पर था।
करीब पांच वर्षों से इस स्कूल की जिम्मेदारी संभाल रहे प्रधानाध्यापक अरुण भट ने स्कूल के कायाकल्प में कोई कसर नहीं छोड़ी। आज इस स्कूल के पहली से पांचवीं कक्षा में 26 बच्चे हैं। दो शिक्षक भी नियुक्त किए गए हैं। बच्चे अब डिजिटल शिक्षा Digital Education  से भी जुड़ चुके हैं। यह सरकारी स्कूल जो बंद होने की कगार पर था, अब एक समृद्ध शिक्षा संस्थान बन गया है।
भट की इस पहल ने क्षेत्र के अन्य बच्चों के लिए आगे की राह आसान कर दी है। पुरानी दीवारों को रंगा, दीवारों पर कहावतें लिखीं, संस्कृति और परंपरा से भरपूर वारली कला का स्पर्श दिया। शैक्षिक चार्ट और स्वतंत्रता सेनानियों की तस्वीरें कक्षा की दीवारों की शोभा बढ़ा रही हैं।
छात्रों ने नारियल के पौधों के साथ-साथ 25 से अधिक किस्म के पौधे लगाए। सभी ने मिलकर टोंडी, करेला, बीन्स, कंद, टमाटर, खीरे, कद्दू, भिंडी, मूंगफली, सुपारी, नारियल, छाछ घास, मूली, मिर्च और अन्य सब्जियां लगाईं। इनका उपयोग बच्चों के लिए भोजन तैयार करने में किया जाएगा। स्कूल में बच्चों के खेलने के लिए स्लाइड, झूले और सीसॉ भी लगाए गए हैं।
भट इस स्कूल को एक मॉडल स्कूल के रूप में विकसित करना चाहते हैं।

Hindi News / Education News / शिक्षक के जुनून ने बदली सरकारी स्कूल की तस्वीर

Copyright © 2024 Patrika Group. All Rights Reserved.