शत्रु हो या कोई बड़ा संकट माँ दुर्गा करेंगी हमेशा रक्षा, नवरात्र में हर रोज करें इस स्तुति का पाठ
1- सर्व पितृ मोक्ष अमावस्या के दिन शाम को एक सरसों के तेल, या गाय के घी का दीपक दक्षिण मुखी लौ करके पितृ के निमित्त जलावें।
2- अगर पितृ पक्ष में प्रतिदिन पितरों के निमित्त श्राद्ध कर्म नहीं कर पाएं तो सर्व पितृ मोक्ष अमावस्या के दिन श्राद्ध कर्म करें।
3- सर्व पितृ मोक्ष अमावस्या के दिन पितृ सूक्त के पितृ गायत्री का संपुट लगाकर के अधिक से अधिक पाठ करे या करवाये।
4- पितृ पक्ष की सर्व पितृ मोक्ष अमावस्या के दिन पितृ दोष से मुक्ति के लिए एक हजार पितृ गायत्री मंत्र का जप करें।
5- संभव हो तो सर्व पितृ मोक्ष अमावस्या के दिन ब्राह्मणों या गरीबों को भोजन कराये और यथाचित दक्षिणा देकर आशीर्वाद लें।
6- सर्व पितृ मोक्ष अमावस्या के दिन गाय, कुत्ते, चीटियों, और कौआ को भी भोजन खिलावें।
7- सर्व पितृ मोक्ष अमावस्या के दिन श्रीमद्भागवत महापुराण का मूल पाठ तथा श्रीमद्भगवद गीता का पाठ करने से पित्रों की आत्मा संतुष्ट होती है।
8- सर्व पितृ आमावस्या के दिन ब्राह्मणों, या गरीबों को भोजन कराने से पितृ पक्ष में भूलवश कोई श्राद्ध करने से छूट गया हो तो उसकी पूर्ति अमावस्या को हो जाती है।
9- सर्व पितृ मोक्ष अमावस्या के दिन घर के आंगन में शाम के समय पांच दीपक जरूर जलावें।
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