नागौर में कृष्ण जन्माष्टमी का त्योहार सोमवार को हर्षोल्लास से मनाया गया। पूरा शहर रात तक कृष्ण की रंग में रंगा रहा।
शहरवासी आपस में जयश्रीकृष्णा का अभिवादन करते रहे। कृष्णजन्मोत्सव पर विभिन्न धार्मिक आयोजन किए गए मंदिरों को आकर्षक रोशनी और फूलों से सजाया गया।
ठाकुरजी का विशेष शृंगार किया गया। शहर के गली मोहल्लों और घरों में श्रद्धालुओं ने अपने आराध्य की झांकी सजाई और माखन मिश्री का भोग लगाया।
कोई राधा बनी, तो कहीं कृष्ण बने
शहर के विभिन्न क्षेत्रों में लोगों ने घरों में भी भगवान कृष्ण के जीवन प्रसंगों पर आधारित झांकिया सजाई। शहर के पित्तीवाड़ा, हाउसिंग बोर्ड, हनुमानबाग, इंदिरा कॉलोनी, व्यास कॉलोनी, करणी कॉलोनी, पीएचडीई कॉलोनी, तेलीवाड़ा, नया तेलीवाड़ा, सुराणा की बारी, नया दरवाजा एवं शारदापुरम एवं अमरसिंह कॉलोनी ह्मकुमारी विश्वविद्यालय सहित कई जगहों पर झांकियां सजाई गई।
श्रीकृष्ण के जन्म लेते ही गूंजा ‘हाथी घोड़ा पालकी, जय कन्हैया लाल की’
जोधपुर रोड स्थित गो-चिकित्सालय परिसर में सोमवार को जन्माष्टमी धूमधाम से मनाई गई। इस मौके पर चार मंजिला पिरामिड बनाकर श्रद्धालुओं ने 25 फीट ऊंची माखन व मिश्री की मटकी फोड़ी। स्वामी कुशालगिरी ने जन्माष्टमी की प्रासंगिकता समझाई।
शहर के कई इलाकों झांकियां सजाई गई। देर रात तक शहर की सडकों पर बालकृष्ण एवं राधा रूप में सजे बच्चे इधर-उधर घूमते रहे।
गोपीनाथ मंदिर में सजाई गई झांकी
नागौर. श्रीकृष्णजन्माष्टमी का त्योहार सोमवार को जिले भर में श्रद्धा व हर्षोल्लास के साथ मनाया गया। रोहिणी नक्षत्र में विभिन्न मंदिरों कृष्ण जन्म की झांकी सजा कर पूजा की गई।
मंदिरों में सजाई गई झांकियों में भगवान कृष्ण के जीवन पर आधारित प्रसंगों को दर्शाया गया। उफनती यमुना में वसुदेव का गोकूल जाना, कारागृह में भगवान का जन्म के प्रसंग पर आधारित झांकी सजाई गई।
। शहर के नगरसेठ बंशीवाला एवं गोपीनाथ मंदिर में कृष्णजन्माष्टमी विशेष आयोजन हुए। मध्यरात्रि में बाल गोपाल का जन्म होने पर पंचामृत एवं अन्य द्रव्यों से अभिषेक किया। विशेष शृंगार कर महाआरती की गई। इस दौरान श्रद्धालुओं की भारी भीड़ उमड़ी।
इस दौरान दर्शनों के लिए श्रद्धालुओं की भीड़ उमड़ी।
पूरा मंदिर परिसर कृष्ण के रंग में रंगा रहा। मंदिर में बच्चे बालकृष्ण के रूप में पहुंचे।
ठाकुर जी का विशेष शृंगार किया गया।श्रद्धालुओं ने कृष्ण लीलाओं को भजनों के माध्यम से प्रस्तुत किया। मध्य रात्रि में भगवान के जन्मे पर आरती कर प्रसाद वितरित किया गया। रात में साढ़े दस बजे बाद से मंदिर में श्रद्धालुओं की भीड़ जुटने लगी।
गोपीनाथ मंदिर में श्रीकृष्ण के जन्म पर आधारित घटनाओं को झांकियों के माध्यम से दिखाया गया। भगवान का जन्म, वासुदेव का यमुना पार जाना आदि दृश्यों को जीवंत किया गया। रंग-बिरंगी लाइट से आकर्षक रूप दिया गया।
गोपीनाथ मंदिर में सजी झांकियों को देखने के लिए देर रात्रि तक श्रद्धालुओं की भीड़ रही।श्रद्धालुओं ने व्रत रखकर भगवान की आराधना की।
शहर में मुय आयोजन नगरसेठ बंशीवाला और गोपीनाथ मंदिर में हुए। बंशीवाला मंदिर मध्य रात्रि में कृष्ण जन्म होने पर ठाकुरजी को पंचामृत से स्नान कराकर अभिषक व आरती की गई।