रुचिकर विषय का चयन भी जरूरी
शासकीय उत्कृष्ट विद्यालय छिंदवाड़ा के कृषि संकाय की अंग्रेजी माध्यम की छात्रा तनुश्री शिवा ने 94.20 प्रतिशत अंक प्राप्त कर प्रदेश की मेरिट में चौथी रैंक हासिल की है। पिता दुर्गेश शिवा एक कोल्ड स्टोर में कम्प्यूटर ऑपरेटर हैं। मां विनिता शिवा एक निजी स्कूल में शिक्षक। कक्षा 10 वीं में तुनश्री ने 84.4 प्रतिशत अंक अर्जित किए थे। तनुश्री ने बताया कि रुचिकर विषय लेकर पढऩे से 50 फीसद सफलता पहले ही तय हो जाती है।
प्रश्न: इस पोजिशन में आने के लिए आपने किस तरह तैयारी की?
उत्तर: नियमित स्कूल जाते हुए हर दिन के कोर्स को बिना गैप किए पढ़ा। परीक्षा के दौरान अतिरिक्त विषय की पढ़ाई करने के बजाय रिविजन पर पूरा ध्यान दिया।
प्रश्न: कृषि समूह चुनने की कोई खास वजह है क्या?
उत्तर: कृषि, मेरा मनपसंद विषय है। उसकी विषय वस्तु में मेरी गहरी रुचि है। रुचिकर विषय पढ़ेंगे, तो अन्य विषयों की तुलना में अधिक याद रहेगा।
प्रश्न: सोशल मीडिया पढ़ाई के लिए सहयोगी है या रुकावट?
उत्तर: सोशल मीडिया इतना बुरा नहीं है कि उसे सिर्फ रुकावट माना जाए। यह आप पर निर्भर है कि आप उसका इस्तेमाल किस तरह करते हैं।
प्रश्न: आगे की पढ़ाई के लिए क्या तय किया है?
उत्तर: आगे की पढ़ाई के लिए पीएटी की तैयारी कर रही हूं। एग्रीकल्चर से बीएससी करना है, लेकिन
अंतिम लक्ष्य यूपीएससी एग्जाम पास करना है।
प्रश्न: कक्षा 12 में कृषि संकाय की किस माध्यम की किताबें उपलब्ध हुईं।
उत्तर: कृषि संकाय में कक्षा 12 वीं अंग्रेजी माध्यम से एक दो किताबें ही हैं। ज्यादातर किताबें हिंदी माध्यम की होने के कारण उन्हें स्कूल शिक्षक ने हिंदी से अंग्रेजी में ट्रांसलेट करके पढ़ाया।