साझा मंच मूवमेंट अगेंस्ट अनएम्प्लॉयमेंट द्वारा 18 अगस्त प्रदेशभर के युवाओं को भोपाल में एकजुट होकर प्रदर्शन करते हुए सरकार से रिक्त पदों पर भर्ती की मांग हेतु आह्वान किया गया था। इसी के बाद से बुधवार सुबह से ही प्रदेश के ये युवा रोशनपुरा चौराहे पर जुटने लगे, लेकिन पुलिस ने यहां पर चारों ओर से बैरिकेडिंग कर रखी थी, इसलिए संगठन ने लोकेशन बदली। इसके बाद वे नीलम पार्क में पहुंचने लगे, लेकिन यहां पहले से तौनात पुलिस ने उन्हें आगे जाने से रोक दिया और प्रदर्शन शुरु करने की अपील करने पर डंडों की बरसात कर दी।
कई युवा घायल
संगठन के सदस्य मनोज रजक के अनुसार, शहर के नीलम पार्क पर पुलिस ने उन्हें पकड़ लिया। संगठन के पदाधिकारी प्रमोद नामदेव, सुमेरसिंह बड़ोले, दिनेश ठाकुर, गोपाल प्रजापति समेत करीब 25 लोगों को पुलिस अपने वाहन में बैठाकर भोपाल से करीब 25 कि.मी दूर एक जंगल में छोड़ दिया। हमें गाड़ी में ही बंद कर रखा है। डंडों की मार से कई युवा घायल भी हुए हैं, जिन्हें इलाज की जरूरत है। घायलों में महिला भी शामिल हैं।
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रोजगार के लिए प्रदर्शन
संगठन के पदाधिकारियों के अनुसार, मध्य प्रदेश में पिछले कई सालों से कोई भी सरकारी भर्ती नहीं निकाली गई हैं, जिसके चलते योग्य उम्मीदवार ओवरएज होकर परीक्षा व्यवस्था से बाहर हो गए हैं। यहां तक कि, अकसर सरकारी विभागों में पद खाली पड़े हैं और लगातार सरकारी कर्मचारियों के रिटायर होने से निरंतर पद खाली होते जा रहे हैं। जिसकी वजह से जो कार्यरत शासकीय कर्मचारी हैं उनपर काम का दबाव बढ़ता जा रहा है। इससे सरकारी कार्यालयों की कार्यशैली भी सवालों के घेरे में आ रही है।
संगठन की मांग
संगठन के पदाधिकारियों का कहना है कि, हमारी सिर्फ यही मांग है कि, जब विभागों में इतने पद रिक्त प़ड़े ही हैं, जिनके न भरे जाने की वजह से प्रदेश के आमजन तक को देरी से काम होने जैसी समस्याओं का सामना करना पड़ रहा है, इसी के चलते हमारी सरकार से मांग है कि, उन्हें इन सभी विभागों में खाली पड़े पदों पर तुरंत स्थाई भर्ती करनी चाहिए। प्रदेश में पिछले 11 साल से शिक्षक भर्ती नहीं हुई है, जो अभ्यर्थी शिक्षक पात्रता परीक्षा में पास हो चुके हैं, अपने डॉक्यूमेंट सत्यापित करवा चुके हैं उन्हें भी पिछले 3 वर्षों से नियुक्ति के इंतजार में हैं। चाहे पुलिस, नर्सिंग या पैरामेडिकल स्टॉफ की समस्याएं हों, किसी भी विभाग में भर्ती प्रक्रिया सुचारू रूप से नहीं चल रही। इसे ध्यान में रखते हुए मांग उठा रहे हैं, पर कोई हल नहीं निकल रहा।
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कमलनाथ ने किया ट्वीट
इस मामले को लेकर मध्य प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री और पीसीसी चीफ कमलनाथ ने इस मामले में पुलिस की बरबरता का एक वीडियो जारी करते हुए सुखा कि, रोज़गार व भर्ती की मांग को लेकर भोपाल में प्रदर्शन कर रहे, प्रदेश भर के युवाओं पर पुलिस का बर्बरता पूर्ण लाठीचार्ज…? रोज़गार माँग रहे युवाओं को दौड़ा-दौड़ा कर पिटा गया, बेहद निंदनीय व शर्मनाक? एक लाख रोज़गार प्रति वर्ष का वर्षों से दावा करने वाली शिवराज सरकार की यह है हक़ीक़त?
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कंस मामा का अंत नजदीक- यूथ कांग्रेस
बेरोजगार युवाओं पर पुलिसिया बर्बरता को यूथ कांग्रेस ने बर्दाश्त से बाहर करार दिया है। यूथ कांग्रेस मीडिया विभाग के अध्यक्ष विवेक त्रिपाठी ने कहा कि, ‘आज शिवराज सरकार का असली चेहरा बेनकाब हो गया है। अपना हक मांग रहे युवाओं पर लाठियां सीएम के इशारे पर चलाई गई। प्रदेश के युवा अब जाग गए हैं, और बीजेपी की तानाशाही वाले सिस्टम को उखाड़ फेंकेंगे। मामा कंस का अंत नजदीक है।’
मध्यप्रदेश में इतने पद खाली