कौन हैं अजय टंडन
अजय टंडन वर्तमान में दमोह कांग्रेस के जिलाध्यक्ष हैं। अजय टंडन 2018 के विधासनभा से पहले के दो विधानसभा चुनावों में बीजेपी के उम्मीदवार जयंत मलैया के खिलाफ चुनाव लड़ चुके हैं। लेकिन दोनों बार उन्हें हार का सामना करना पड़ा है। दो हार के बाद कांग्रेस ने एक बार फिर से अजय टंडन पर भरोसा किया है। पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ के पास दो नामों का पैनल पहुंचा था, इसमें टंडन का नाम भी शामिल था। अब कमलनाथ 25 मार्च को दमोह जाएंगे और यहीं से चुनावी प्रचार का आगाज करेंगे।
अजय टंडन वर्तमान में दमोह कांग्रेस के जिलाध्यक्ष हैं। अजय टंडन 2018 के विधासनभा से पहले के दो विधानसभा चुनावों में बीजेपी के उम्मीदवार जयंत मलैया के खिलाफ चुनाव लड़ चुके हैं। लेकिन दोनों बार उन्हें हार का सामना करना पड़ा है। दो हार के बाद कांग्रेस ने एक बार फिर से अजय टंडन पर भरोसा किया है। पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ के पास दो नामों का पैनल पहुंचा था, इसमें टंडन का नाम भी शामिल था। अब कमलनाथ 25 मार्च को दमोह जाएंगे और यहीं से चुनावी प्रचार का आगाज करेंगे।
अजय टंडन के पिता चंद्र नारायण टंडन कांग्रेस के कद्दावर नेता रहे हैं। दिग्विजय सिंह के शासन काल में अजय टंडन कांग्रेस जिलाध्यक्ष रह चुके हैं। उन्होंने दो बार 1998 और 2003 में विधानसभा चुनाव भी लड़ा, लेकिन उन्हें जयंत मलैया से हार का सामना करना पड़ा था। राहुल सिंह लोधी जब कांग्रेस से चुनाव लड़े थे तो उस समय चुनाव मैनेजमेंट का जिम्मा अजय टंडन ने ही संभाला था।
कांग्रेस का प्लान
दमोह सीट पर अपना कब्जा बरकरार करने के लिए कांग्रेस ने माइक्रो मैनेजमेंट प्लान तैयार किया है। कांग्रेस के संगठन पदाधिकारियों को दमोह में डेरा डाल पार्टी के पक्ष में माहौल बनाने की जिम्मेदारी दी गई है। वहीं भाजपा ने गोपाल भार्गव और भूपेन्द्र सिंह को दमोह उपचुनाव के लिए जिम्मेदारी सौंपी है।
दमोह सीट पर अपना कब्जा बरकरार करने के लिए कांग्रेस ने माइक्रो मैनेजमेंट प्लान तैयार किया है। कांग्रेस के संगठन पदाधिकारियों को दमोह में डेरा डाल पार्टी के पक्ष में माहौल बनाने की जिम्मेदारी दी गई है। वहीं भाजपा ने गोपाल भार्गव और भूपेन्द्र सिंह को दमोह उपचुनाव के लिए जिम्मेदारी सौंपी है।