डेढ़ लाख रुपए दिये हॉस्पिटल में नहीं दी रसीद
मोहन गोविंद ने बताया कि उनकी मां विजय लक्ष्मी को 7 नवंबर को पैरालिसिस का अटैक पड़ा था। उन्होंने मां को चौपुला स्थित एक निजी अस्पताल में भर्ती कराया। उनके पास आयुष्मान कार्ड था, लेकिन आरोप है कि इसके बावजूद डॉक्टर ने 1.5 लाख रुपये जमा कराने को कहा। पैसे जमा करने पर भी रसीद नहीं दी गई।जब मोहन ने डॉक्टर से पूछा कि आयुष्मान कार्ड होने के बावजूद पैसे क्यों मांगे गए, तो डॉक्टर ने उनके साथ बदसलूकी की और योजना को लेकर आपत्तिजनक टिप्पणी की।
मरीज को जहरीली दवा देने का आरोप
मोहन का आरोप है कि विवाद के दौरान डॉक्टर ने उनकी मां को जहरीली दवा दे दी। कुछ समय बाद उनकी मां के मुंह से झाग निकलने लगे। जब यह बात डॉक्टर को बताई गई, तो उन्होंने परिजनों को अस्पताल से जबरन बाहर निकाल दिया।मजबूरी में मोहन अपनी मां को दिल्ली ले जा रहे थे, लेकिन रास्ते में ही उनकी मृत्यु हो गई।