मैसूरु. स्थानकवासी जैन संघ के तत्वावधान में सिटी स्थानक में डॉ समकित मुनि ने शुक्रवार को कहा कि राजकुमारी चेलना इत्र बेचने वाले के वेषधारी अभयकुमार के जाल में फंस गई। वह तो संस्कार वाली, धार्मिक परायणा श्राविका थी, फिर भी इत्र की खुशबू की लोलुपता में आ गई। अभयकुमार ने चेलना को रत्नजडि़त सोने की डिब्बी को महंगे इत्र से भरकर भेंट की। दृढ़धर्मी चेलना तो अपने प्रतिज्ञा और संकल्प से तो दूर न रही, फिर भी हमें यहां सोचना चाहिए कि दुनिया में कोई भी व्यक्ति बिना कारण महंगे तोहफे का भेंट नहीं देता। यूं ही प्रशंसा नहीं करता है। बिना कारण महंगे तोहफे लेना खतरनाक हो सकता है। आटे की लालच में जिस प्रकार मछली जाल में फंस जाती है, इसी प्रकार प्रशंसा या तोहफे की लालच में लोग अपना जीवन बर्बाद कर देते हैं। संघ अध्यक्ष कैलाशचंद बोहरा ने स्वागत किया। राजेन्द्रकुमार मुथा एवं चंदनबाला महिला मंडल ने विजेताओं को पुरस्कार प्रदान किए। मंत्री सुशीलकुमार नंदावत ने धन्यवाद दिया। बुद्धि का सही दिशा में उपयोग हो मैसूरु. वर्धमान स्थानकवासी जैन श्रावक संघ सिद्धार्थनगर में श्रुत मुनि ने शुक्रवार को कहा कि मानव को अज्ञान, अन्याय से दूर रह कर बुद्धि, का उपयोग सही दिशा में करना चाहिए। बुद्धि को पूर्वाग्रह में कतई उपयोग नहीं बुद्धि का उपयोग समस्त जीवों के प्रति, संबंधों में, धर्म क्षेत्र में, व्यापर में, समाज में, परिवार में एवं समस्त सेवाओं में बुद्धि का अमृतमय उपयोग करते हुए न्यायपूर्ण समावेश करना चाहिए। अपनी गलती को पहचानो एवं स्वीकार करो एवं ज्ञान का सदा सम्मान करना चाहिए। जीवन को सुन्दर, शांति से जीना चाहिए। रविवार को श्रावक सम्मेलन होगा। संचालन प्रमोद श्रीमाल ने किया। तडगोडी गांव में बाबण्या हब्बा मनाया मंड्या. श्रीरंगपट्टण तहसील के तडगोडी गांव में गुरुवार रात को विविध समुदाय ने मिलकर बाबण्या हब्बा मनाया। सर्वप्रथम मस्जिद के सामने एक गड्ढा खोदा गया। जिसमें नारियल जलाए गए। फिर शरीर पर तेल व कालिख लगाई। हाथों में रस्सी लेकर आग के चारों ओर चक्कर लगाए और एक-दूसरे को पीठ पर प्रहार किया। उत्सव में शामिल लोगों का मानना है कि ऐसा करने से मन में छिपे भेदभाव मिटते हैं।