सुरेश ने गुरुवार को कहा था कि अगर विभिन्न करों से एकत्रित धनराशि वितरण के मामले में दक्षिणी राज्यों के साथ हो रहे अन्याय को रोका नहीं गया तो दक्षिणी राज्य एक अलग राष्ट्र की मांग करने के लिए मजबूर हो जाएंगे। सुरेश उपमुख्यमंत्री और कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष डीके शिवकुमार के भाई हैं। सुरेश के बयान का मुद्दा संसद के दोनों सदनों में भी उठा और लोकसभा में भाजपा ने मामले को आचार समिति को सौंपने की मांग की।
पुलिस के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा, भाजपा के सदस्यों का एक समूह कांग्रेस सांसद के आवास के बाहर एकत्र हुआ और विरोध प्रदर्शन करने की कोशिश की, लेकिन हमारे अधिकारियों ने उन्हें तुरंत वहां से हटाकर हिरासत में ले लिया। स्थिति नियंत्रण में है।
विरोध सबका अधिकार: सुरेश बेंगलूरु ग्रामीण सीट से सांसद सुरेश ने विरोध प्रदर्शन पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि लोकतंत्र में हर किसी को विरोध करने और अभिव्यक्ति की आजादी का अधिकार है। उन्होंने यहां संवाददाताओं से कहा, मैं उनके विरोध का खुशी से स्वागत करता हूं। सुरेश ने भाजपा पर उनके बयान को तोड़-मरोड़कर पेश करने की कोशिश करने का आरोप लगाते हुए कहा, मैंने कभी नहीं कहा कि देश को विभाजित करना है, भाजपा ही खुद इस दिशा में आगे बढ़ रही है। वे राजनीति करने की कोशिश कर रहे हैं। एक सवाल के जवाब में उन्होंने कहा कि भाजपा से पूछा जाना चाहिए कि वह उनके बयान को क्यों गलत ढंग से पेश कर रही है। उन्हें नहीं मालूम कि यह भाजपा की गलती है, मीडिया की गलती है, उनकी गलती है।
भाजपा कार्यकर्ताओं पर लाठीचार्ज का दावा, कई घायल इस बीच, भाजपा ने दावा किया है कि सांसद के घर पर प्रदर्शन कर रहे भाजयुमो के कार्यकर्ताओं पर पुलिस ने लाठी चार्ज किया, जिसमें कई लोग घायल हो गए। भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष बी. वाई. विजयेंद्र ने कहा कि भाजयुमो कार्यकर्ता शांतिपूर्ण तरीके से प्रदर्शन कर रहे थे। फिर भी पुलिस ने उन पर लाठी चार्ज किया। इस लाठी चार्ज में कई गंभीर रूप से घायल हुए हैं। उन्होंने कहा कि अलग राष्ट्र की मांग के खिलाफ भाजपा अपनी लड़ाई जारी रखेगी। सरकार कितनी भी ताकतवर क्यों नहीं हो, वे इसके खिलाफ आवाज उठाते रहेंगे। विधानसभा में विपक्ष के नेता आर. अशोक ने गृह मंत्री डॉ जी. परमेश्वर से लाठीचार्ज करने वाले पुलिस कर्मियों के खिलाफ कार्रवाई की मांग की।