प्राण प्रतिष्ठा का अनुष्ठान से पहले 60 घंटे तक यज्ञ, हवन, चारों वेदों का पारायण और कर्मकांडों का वाचन होगा। 22 जनवरी को 56 भोग अर्पित कर रामलला की पहली आरती पीएम मोदी उतारेंगे।
121 वैदिक ब्राह्मण रोजाना करेंगे 12 घंटे पूजा
राम लला की प्राण प्रतिष्ठा का अनुष्ठान 17 जनवरी को सुबह आठ बजे से शुरू होगा जोकि दोपहर 1 बजे तक चलेगी। इसके बाद दोपहर 3 बजे से लेकर रात के 9:30 बजे तक अनुष्ठान चलेगा। यानी करीब 10 से 12 घंटे रोजाना मंत्रोच्चार, हवन-पूजन होगा। यह क्रम 21 जनवरी तक जारी रहेगा। 22 जनवरी को रामलला अपने भव्य गर्भगृह में विराजमान होंगे।
राम लला की प्राण प्रतिष्ठा का अनुष्ठान 17 जनवरी को सुबह आठ बजे से शुरू होगा जोकि दोपहर 1 बजे तक चलेगी। इसके बाद दोपहर 3 बजे से लेकर रात के 9:30 बजे तक अनुष्ठान चलेगा। यानी करीब 10 से 12 घंटे रोजाना मंत्रोच्चार, हवन-पूजन होगा। यह क्रम 21 जनवरी तक जारी रहेगा। 22 जनवरी को रामलला अपने भव्य गर्भगृह में विराजमान होंगे।
मंदिर परिसर में बनाए गए हैं कई मंडप व हवन कुंड
इसके लिए मंदिर परिसर में कई मंडप व हवन कुंड बनाए जा रहे हैं। मंदिर के बाहर एक बड़ा मंडपम होगा। हर विधा के ब्राह्मणों के कई छोटे- छोटे मंडपम होंगे। मंडपम के बीच में 20 यज्ञ कुंड होंगे। मंडप के पूर्व में पंचांग पूजन के ब्राह्मण होंगे। इसके बाद वैदिक ब्राह्मण और बाकी के कर्मकांडी पंडित अनुष्ठान कराएंगे।
इसके लिए मंदिर परिसर में कई मंडप व हवन कुंड बनाए जा रहे हैं। मंदिर के बाहर एक बड़ा मंडपम होगा। हर विधा के ब्राह्मणों के कई छोटे- छोटे मंडपम होंगे। मंडपम के बीच में 20 यज्ञ कुंड होंगे। मंडप के पूर्व में पंचांग पूजन के ब्राह्मण होंगे। इसके बाद वैदिक ब्राह्मण और बाकी के कर्मकांडी पंडित अनुष्ठान कराएंगे।