यह भी पढ़ें- कोरोना: शादी समारोह में शामिल हो सकेंगे सिर्फ 100 लोग, बैंड-बाजा और बारात चढ़त पर भी रोक दरअसल, एक माह से वीकेंड पर निर्धारित संख्या 5000 हजार से ज्यादा पर्यटक ताजमहल का दीदार करने पहुंच रहे हैं, जो कोरोना महामारी एक्ट का उल्लंघन है। बताया जा रहा है कि पहले कुछ लोग ऊंचे दामों पर ताज की टिकट बेच रहे थे। वहीं, अब सुरक्षा में तैनात पुलिसकर्मी और सीआईएसएफकर्मी पर्यटकों को अपना अतिथि बताते हुए प्रवेश दिला रहे हैं। यह संख्या पांच हजार से ज्यादा हो जा रही है। बताया जा रहा है कि शनिवार को इसी को लेकर सुरक्षाकर्मियों और एएसआईकर्मियों के बीच झगड़ा हो गया था। विवाद बढ़ने पर अधीक्षण पुरातत्वविद वसंत कुमार स्वर्णकार ने महानिदेशक पुरातत्व को पत्र लिखकर मौजूदा स्थिति से अवगत कराया है।
अधीक्षण पुरातत्वविद ने बताया कि सुरक्षाकर्मी 200 से 250 लोगों को अपना अतिथि बताकर प्रवेश दिला देते हैं, जो कोरोना महामारी एक्ट का सीधा उल्लंघन है। इस स्थिति को देखते हुए ताजमहल को बंद करने पर भी फैसला लिया जा सकता है। उन्होंने बताया कि कोरोना काल में ताजमहल में मात्र पांच हजार पर्यटकों को ही प्रवेश देने का नियम है, लेकिन कुछ कर्मचारी इस नियम की अनदेखी कर रहे हैं। उन्हाेंने पुरातत्व महानिदेशक को मौजूदा स्थित के बारे में बता दिया है। अब मुख्यालय जो भी निर्णय लेगा, उसी के अनुसार कार्रवाई की जाएगी।
निराश लौट रहे पर्यटक बता दें कि अक्सर छुट्टी के दिनों में आगरा ताजमहल देखने वालों की संख्या में बढ़ोतरी होती है। कोरोना महामारी के चलते भीड़ को आने से रोकने के लिए टिकट सीमा भी निर्धारित कर दी गई है। रविवार सुबह और दोपहर के स्लाट के सभी 2500 टिकट शनिवार को ही बुक हो गए थे। इसलिए सुबह नौ बजे के बाद बगैर टिकट बुक कराए पहुंचे पर्यटकों को निराश लाैटना पड़ा। इसलिए ताजमहल देखने आने से पहले टूरिस्ट वेबसाइट चेक करके ही आएं। कहीं ऐसा न हो कि आप ताजमहल पहुंच जाएं और वहां टिकट न मिलने पर आपको परेशान होना पड़े।