नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज सेतुभारतम परियोजना का शुभारंभ किया। इस परियोजना के अंतर्गत साल 2019 तक सभी राष्ट्रीय राजमार्गों को रेलवे क्रॉसिंग से मुक्त बनाया जाएगा। कार्यक्रम में मोदी के साथ केंद्रीय सड़क एवं परिवहन मंत्री नितिन गड़करी भी दिखाई दिए। परियोजना का शुभारंभ करने के बाद प्रधानमंत्री ने कहा, सरकार बुनियादी ढांचा मजबूत करने को प्रतिबद्ध है। राजमार्गों, सूचना मार्गों और रेलवे ढांचे के विकास में तेजी लाने के भी प्रयास किए जा रहे हैं। 50 हजार 800 करोड़ की परियोजना
का शुभारंभ करते हुए प्रधानमंत्री ने आगे कहा, सरकार का प्रयास है कि 2019 तक सभी हाईवे रेलवे क्रासिंग मुक्त हों और साथ ही अंग्रेजों के जमाने के बने 1500 पुलों की मरम्मत हो जाए।
आधारभूत सुविधाओं में बेहतर काम करने के लिए सड़क परिवहन मंत्री नितिन गडकरी की तारीफ करते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि देश के विकास में आधारभूत अहम भूमिका निभाता है। उन्होंने आगे कहा कि सरकार का जोर सिर्फ हाईवेज पर ही नहीं, बल्कि आई-वेज (इनफोर्मेशन वेज) और रेलवे पर भी है।
उन्होंने कहा, आमतौर पर सरकारों का काम वृद्धि संबंधी होता है, लेकिन वर्तमान सरकार की सोच कुछ अलग है। हमारी सोच दीर्घकालिक विकास की है। हम लोगों की लंबी उम्मीदों को पूरा करने के लिए वचनबद्ध है। सेतु भरतम परियोजना के तहत कुल 208 रेलवे क्रासिंग्स पर 2019 तक रेलवे ब्रिज बना दिए जाएंगे। इन्हें बनाने में करीब 20 हजार 800 करोड़ रुपए का खर्चा आएगा, जबकि अंग्रेजों के जमाने के बने हुए 1500 पुलों को ठीक करने में 30 हजार करोड़ का खर्चा आएगा।
पिछले प्रशासन पर तंज कसते हुए प्रधानमंत्री ने कहा कि देश में पहली बार सभी पुलों का खाका तैयार किया जा रहा है। देश में डेढ़ लाख पुलों का नक्शा तैयार करने के लिए इंडियन ब्रिज मैनेजमेंट सिस्टम की शुरुआत की गई है। मोदी ने अपने ट्रेडमार्क स्टाइल में कहा, किसी को नहीं पता कि कौन सा ब्रिज कहां पर है। आप सोच सकते हैं कि किस तरह काम हो रहा था। मैं किसी निर्वाचित निकाय, प्रधानमंत्री या मंत्री को दोष नहीं दे रहा हूं। यही सिस्टम का खोट है। हमने कभी भी ऐसी चीजों को अहमियत नहीं दी।
हमें व्यापक दृष्टिकोण अपनाने की जरूरत है-
कार्यक्रम के दौरान मोदी ने कहा कि हमें समस्या को लेकर व्यापक दृष्टिकोण अपनाने की जरूरत है। हमें समस्या पता है और हम उसमें स्थाई बदलाव चाहते हैं। उन्होंने कहा कि सबसे पहले स्थिति के बारे में पूरी जानकारी होनी चाहिए और फिर उसके बाद उस दिशा में कदम उठाने चाहिए। उन्होंने कहा कि रेलवे सिर्फ वाहवाही से सफलतापूर्व नहीं चल सकती इसलिए हमने रेलवे लाइन को बढ़ाने का निर्णय किया है।
ट्रेनों की घोषणा सांसदों को खुश करने के लिए नहीं-
कार्यक्रम में पीएम मोदी ने कहा कि पहले नई ट्रेनों की घोषणा सिर्फ सांसदों को खुश करने के लिए की जाती थी इसलिए कई प्रोजेक्ट अधुरे पड़े हुए हैं। साल 2016-17 के आम बजट की तारीफ करते हुए पीएम मोदी ने कहा कि इस साल के बजट में ग्रामीण सड़कों के लिए बजट में बहुत से संसाधनों की व्यवस्था की गई है और सरकार का इस ओर ध्यान दे रही है।
परियोजनाएं कोयला, बिजली और सड़क से संबंधित- गौरतलब है कि प्रधानमंत्री मोदी बुनियादी ढांचा परियोजनाओं की समीक्षा के लिए आज वरिष्ठ अधिकारियों के साथ बैठक करेंगे। ये परियोजनाएं कोयला, बिजली और सड़क क्षेत्रों से संबंधित हैं। बैठक के दौरान बिजली, कोयला, नई एवं नवीकरणीय ऊर्जा तथा सड़क मंत्रालयों के सचिव विभिन्न परियोजनाओं की मौजूदा स्थिति के बारे में बताएंगे।
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