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NIT श्रीनगर में पीटा कानपुर का बेटा, पेरेंट्स बोले- डरना मत

हरष ने पीटने के बाद अपने पिता प्रमोद शुक्ला से फोन पर यह बातें कहीं | बता दें मंगलवार को विरोध कर रहे छात्रों को पुलिस ने बंदूक की बट से पीटा।

कानपुरApr 07, 2016 / 07:46 am

Sujeet Verma

Srinagar NIT

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कानपुर.पापा डरना नहीं, भारत माता से बड़ी मेरी जान नहीं। हम अपने देश पर अगर तिरंगा का झंडा नहीं फहरा सकते, भारत माता की जय नहीं बोल सकते तो ऐसे जीने से अच्छा देश विरोधियों के खिलाफ लड़कर मर जाना कबूल है। यह शब्द एनआईटी में छात्र हरषकृष्ण शुक्ला के हैं, जिसको भारत माता के जयकारे लगाने पर श्रीनगर एनआईटी में पीटा गया था।

हरष ने पीटने के बाद अपने पिता प्रमोद शुक्ला से फोन पर यह बातें कहीं | बता दें मंगलवार को विरोध कर रहे छात्रों को पुलिस ने बंदूक की बट से पीटा। पुलिस की पिटाई से हरष को भी चोटें आई हैं। हरष मैकेनिकल फर्स्ट ईयर का छात्र है। बुधवार को एमएचआरडी की दो सदस्यीय टीम ने बयान दर्ज किए।

पाकिस्तान जिंदाबाद के लगाए गए नारे
एनआईटी छात्र हरष शुक्ला ने बुधवार की रात फोन पर से बताया कि 31 मार्च को टी-20 मैच समाप्त होने के बाद पूरा कैंपस अराजकता की चपेट में आ गया था। कुछ छात्रों ने वेस्टइंडीज के मैच जीतने के बाद पाकिस्तान जिंदाबाद के नारे लगाने शुरू कर दिए। पटाखे फोड़े जाने लगे और देश के प्रति अपशब्द कहे गए। इसका छात्रों के एक बड़े समूह ने विरोध किया। हम लोगों ने भारत माता के जयकारे लगाने शुरू कर दिए। विरोधी छात्रों ने रात में हॉस्टल पर पथराव किया।

हंगामे के बाद रात में ही लहराया तिरंगा
हरष ने बताया कि हंगामे के बाद रात में ही छात्रों ने तिरंगा मंगाया और एनआईटी कैंपस में लहराया गया। रात जैसे-तैसे गुजरी और सुबह कैंपस का माहौल गर्म हो गया। कक्षाएं बाधित हो गईं हैं। समर्थक और विरोधी छात्र गुटों में विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं। मंगलवार को छात्रों ने जब मीडिया से बात करनी चाही तो पुलिस ने कहर बरपाया। छात्रों पर लाठीचार्ज किया, आंसू गैस के गोले छोड़े। मीडिया के लोगों को भगा दिया। कैंपस में मीडिया के आने पर प्रतिबंध लगा दिया गया है।

श्रीनगर से शिफ्ट की जाए एनआईटी
हरष ने बताया कि बुधवार दोपहर एमएचआरडी मंत्रालय के दो सदस्यीय जांच दल आया था। इस टीम ने छात्रों की बात सुनीं। छात्रों ने जांच दल से साफ कहा कि श्रीनगर से एनआईटी शिफ्ट की जाए। यहां छात्र सुरक्षित नहीं हैं। पुलिस भी बर्बर व्यवहार कर रही है। इसके अलावा हमारी कोई दूसरी मांग नहीं है।

जांच दल यह कहकर लौट गया कि छात्रों की बात ऊपर तक पहुंचा दी जाएगी। वहीं, बाबूपुरवा कॉलोनी स्थित हरष के परिवार के लोग सहमे हुए हैं। टेलीविजन पर श्रीनगर की खबरों से चिंतित हैं। हरष के पिता प्रमोद शुक्ला अपरजिला जज के निजी सचिव हैं। प्रमोद ने बताया कि एनआईटी की हालत बहुत खराब है। बेटा डरा हुआ है लेकिन हम लोग उसके संपर्क में है। बेटे से कहा है कि डरना नहीं, भारत माता से बड़ा कोई नहीं है।

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