इंदौर। एक्सपर्ट का कहना है कि सरकार के इस कदम से ट्रेड, रियल एस्टेट सेक्टर, खुदरा कारोबार में कुछ समय दिक्कत रहेगी। हुंडी कारोबारियों और चिट्ठी पर उधारी चलाने वालों की जान सांसत में आ जाएगी। हालांकि, बैंकिंग और टैक्स कंसलटेंट ने कहा कि जिनके पास व्हाइट मनी है, उन्हें परेशान होने की जरूरत नहीं है।
कैश के रैंडम मैनेजमेंट के लिए सरकार 9 व 10 नवंबर को बैंकें बंद रखेगी। चूंकि, अभी तक अधिकांश लोग 500 या 1000 के नोट एटीएम से निकाल रहे थे। नए फैसले में सरकार ने अभी एक दिन में सिर्फ 2000 रुपए निकालने की छूट दी है। चूंकि, एक एटीएम में औसतन 10 लाख रुपए का नकद होता है। इसलिए एक दिन में एक एटीएम से सिर्फ 500 लोग ही नकद निकाल सकेंगे।
स्वागत होना चाहिए
सरकार ने कालाधन रखने वालों पर शिकंजा कसा है। इसका स्वागत होना चाहिए। किसी भी देश की सरकार झटके से करेंसी बदलती है, ताकि बड़े नोटों को कहीं बदला ना जा सके।
मोहन कृष्ण शुक्ला, अध्यक्ष मप्र बैंक इम्पलाइज एसोसिएशन
बैंकों में बढ़ेगी भीड़
नोट बदलने के लिए बैंकों में भीड़ बढ़ेगी। बैंकों को महिलाओं और पुरुषों के लिए अलग-अलग विंडो बनानी चाहिए। यदि शॉर्टेड नोट आते हैं तो लोगों को आसानी से रुपए मिल जाएंगे।
जीएस ठाकुर, रिटायर्ड मैनेजर एसबीआई
जाली नोट नेटवर्क ध्वस्त
संभवत: सरकार के पास खुफिया रिपोर्ट थी कि 1000-500 के जाली नोटों का बड़ी मात्रा में उपयोग हो रहा है। उसे तुरंत समाप्त करने के लिए सरकार को यह कदम उठाना पड़ा। सरकार के इस कदम से एकाएक घबराहट पैदा हो सकती है। 100 रुपए का चलन कम 500 का ज्यादा है। सरलता से मार्केट में लिक्विडिटी नहीं मिलेगी। ट्रेड में भी परेशानी होगी। बैंक, एटीएम के बंद होने के कारण परेशानी हो सकती है, लेकिन अर्थव्यवस्था के लिए अच्छा कदम है।
प्रो. गणेश कावडि़या, अर्थशास्त्री
काली कमाई पर विराम
बैन होने के बाद 500-1000 के नोट बैंक में जमा कराने के लिए परिचय पत्र देना अनिवार्य होगा, इससे काली कमाई पर विराम लगेगा। जिन देशों में एेसा प्रयोग हुआ, वहां कालाधन के नियंत्रण के अच्छे परिणाम आए हैं।
जयंतीलाल भंडारी, अर्थशास्त्री
जल्दबाजी का निर्णय
सरकार का यह निर्णय जल्दबाजी का है। बाजार में घबराहट है। व्यापारी वर्ग में झगड़ा बढ़ेगा। सरकार के फैसले के साथ ही एटीएम और पेट्रोल पंप मेंं विवाद शुरू हो गया है।
हुकुम सोनी, अध्यक्ष इंदौर सराफा एसोसिएशन
फैसले का सभी स्वागत करें
सरकार का यह कदम कालेधन पर नियंत्रण के लिए है। बहुत ज्यादा घबराहट न हो। व्यावहारिक दिक्कतों के आरबीआई समाधान लाएगी। सभी इसका स्वागत करें। इससे पूरा फंड एक नंबर में आएगा। बैंकिंग चैनल का अधिकतम यूज होगा। इससे निवेश बढ़ेगा और शेयर मार्केट व अर्थव्यवस्था मजबूत होगी।
सीए केमिशा सोनी, सेंट्रल काउंसिल मेंबर
उद्यमी वेलकम करेंगे
सरकार के इस कदम से ट्रेड सेगमेंट, रियल एस्टेट, खुदरा कारोबार करने वालों को दिक्कत आएगी। इंडस्ट्री के लिए यह अच्छा है। चूंकि, इंडस्ट्री में अधिकांश कारोबार एक नंबर में होता है। उद्यमी इसका वेलकम करते हैं।
ओम धूत, अध्यक्ष एआईएमपी
लांग टर्म में अच्छा
लांग टर्म के लिए अच्छा कदम है। हालांकि, एक माह के लिए समस्या खड़ी हो गई है। सरकार के इस कदम से भ्रष्टाचार, ब्लैकमनी, जाली नोट पर विराम लगेगा।
रमेश खंडेलवाल, अध्यक्ष सियागंज किराना मर्चेंट एसोसिएशन
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