किया खोपड़ी का अध्ययन दरअसल शोधकर्ताओं ने हाथी पक्षियों की दो प्रजातियों की खोपड़ी का अध्ययन किया। दो हाथी पक्षी की खोपड़ी के सीटी-इमेजिंग डेटा का उपयोग करके, शोधकर्ता एंडोकास्ट नामक डिजिटल मस्तिष्क पुनर्निर्माण किया। हाथी पक्षी की खोपड़ी के अलावा, शोधकर्ताओं ने हाथी पक्षी के जीवित और विलुप्त दोनों करीबी रिश्तेदारों के लिए एंडोकास्ट भी बनाया। दोनों हाथी पक्षियों की खोपड़ी में, ऑप्टिक लोब – मस्तिष्क तंत्रिकाओं का एक बंडल जो दृष्टि को नियंत्रित करता है – बहुत छोटा था, बड़ी प्रजातियों में यह संरचना लगभग अनुपस्थित थी।
कीवी से समानता लोब में कीवी के साथ सबसे अधिक समानता थी। यानी ये भी कीवी की तरह खराब नजर वाले थे और रात में सक्रिय रहते थे। दृष्टि के अलावा, घ्राण बल्ब का एंडोकास्ट का निर्माण किया। यह मस्तिष्क का वह हिस्सा होता है जो गंध को पहचानने में मदद करता है। इसने भी उन आवासों पर प्रकाश डालने में मदद की जहां हाथी पक्षी रहते थे। हाथी पक्षी की दो प्रजातियों में से बड़े में एक बड़ा घ्राण बल्ब था, जो जंगल में रहने से जुड़ा एक लक्षण था। इसके विपरीत, छोटे हाथी पक्षी प्रजाति में एक छोटा घ्राण बल्ब होता था, जो संभवतः संकेत देता था कि यह घास के मैदानों में रहता था।